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हरियाणा की बेटी ने पैरा एशियन एथलेटिक्स में लहराया परचम, तीसरी बेटी होने से दुखी पिता ने रखा था अटपटा नाम

कैथल के गांव रोहेड़ा की 16 वर्षीय अंतरराष्ट्रीय पैरा ओलंपिक खिलाड़ी का नाम माफी है। शायद जितना रोचक इनका नाम है, उतनी ही रोचक इनकी कहानी भी रही है, स्वजनों ने माफी नाम इसलिए रखा था। क्योंकि परिवार में माफी से पहले दो बहनों का जन्म हो चुका था भाई बहन में माफी तीसरे नंबर पर आती हैं,

परिवार में पिता शीशपाल, मां सुनीता और बड़ी बहन अंजू, मंजू माफी छोटी बहन नैंसी , भाई मनीष और सबसे छोटी बहन प्रीति है। पिता शीशपाल 2 एकड़ मैं खेती करके परिवार का गुजारा करते हैं वही 5 साल की उम्र में माफी पर दुखों का पहाड़ टूट गया। बता दें कि एक दिन जब, सारा काटने वाली मशीन ने माफी का बाया हाथ आधा काट दिया था।

हरियाणा की बेटी ने पैरा एशियन एथलेटिक्स में लहराया परचम, तीसरी बेटी होने से दुखी पिता ने रखा था अटपटा नामहरियाणा की बेटी ने पैरा एशियन एथलेटिक्स में लहराया परचम, तीसरी बेटी होने से दुखी पिता ने रखा था अटपटा नाम

आपको बता दें ,इस घटना के बाद परिजनों को भी माफी की चिंता सताने लगी। वही लेकिन अब माहौल कुछ अलग हो चुका था। माफी ने ऐसा कारनामा कर दिखाया, जो अब तक जिले में कोई भी नहीं कर पाया था। माफी पैरालंपिक लिस्ट में पदक जीतने वाली कैथल की पहली खिलाड़ी थी वहीं 2 से 6 दिसंबर को बहरीन में पैरा यूथ एशियन खेल हुए हैं। वहीं इसमें माफी में टी -46 कैटेगरी में भाग लेकर 400 मीटर दौड़ में पदक हासिल कर लिया।

वही बता दे, कि माफी ने 5 साल पहले चीका में एथलेटिक्स प्रशिक्षक डा. सतनाम सिंह के पास दौड़ का अभ्यास शुरू किया था। वही 5 सालों से कोच सतनाम सिंह ही खिलाड़ी का सारा खर्चा उठा रहा था और चीका में भी राजकीय स्कूल में पढ़ाई करवा रहे हैं।

वहीं डॉक्टर सतनाम सिंह का कहना है कि माफी ने शुरुआत की पढ़ाई गांव रोहेड़ा के राजकीय स्कूल में करी है। और स्कूल में वह बच्चों को कबड्डी खेलते हुए देखती थी। 1 दिन स्कूल में खेल चल रहे थे और वह भी वहां बहुत ही हुई थी। वही माफी को देखा तो उसके स्वर जनों से मिलकर माफी को खेल दिखाने के लिए कहा सभी राजी हो गए और उन्होंने माफी को एथलेटिक्स प्रशिक्षण केंद्र पर भेज दिया।

प्रशिक्षक डा. सतनाम सिंह का कहना है, कि माफी इससे पहले भी राष्ट्रीय स्तर पर पदक जीत चुकी है और साल 2018 में पंचकूला में हुई राष्ट्रीय पैरा एथलेटिक्स मैं 400 मीटर दौड़ में पदक और 400 रिले दौड़ में रजत पदक हासिल किया हुआ है। वहीं मार्च 2021 में बेंगलुरु में हुई राष्ट्रीय पैरा खेल में 400 मीटर दौड़ में रजत पदक हासिल किया हुआ है।अब माफी 2022 में चीन में होने वाली पैरा एशियन एथलेटिक्स स्पर्धा के लिए तैयारी कर रही हैं।

माफी चीका स्थित खेल स्टेडियम में दौड़ का अभ्यास करती रहती है और रोजाना करीब 6 घंटे मैदान पर पसीना बहाती है सुबह 3 घंटे और शाम में 3 घंटे दौड़ का ब्याज भी करती हैं। वही बता दें कि चीका एथलेटिक्स प्रशिक्षण केंद्र पर करीब 200 खिलाड़ी अभ्यास करते हैं और विभिन्न इवेंट में पैरा के करीब दस खिलाड़ी भी प्रशिक्षण ले रहे हैं।

माफी के पदक जीतकर कैथल लौटने पर सम्मान समारोह भी आयोजित किया गया। पहले गांव ग्राम पंचायत की तरफ से खिलाड़ी को सम्मानित किया गया। उसके बाद जी का प्रशिक्षण केंद्र और चीका राजकीय विद्यालय में माफी को सम्मानित किया गया।

Avinash Kumar Singh

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Avinash Kumar Singh

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