तीन माह गुजर जाने के बावजूद अभी तक लोक निर्माण विभाग इसकी डीपीआर तैयार नहीं कर सका है। डीपीआर तैयार होने के बाद इसे मंजूरी के लिए सरकार के पास भेजा जाएगा। इसके बाद बिजली निगम से खंभे हटाने व वन विभाग से पेड़ काटने की अनुमति ली जाएगी। निर्माणाधीन मंझावली पुल तक बेहतर कनेक्टिविटी के लिए बल्लभगढ़-तिगांवमुख्य मार्ग को फोरलेन बनाया जाना है।
मार्च में तिगांव रैली में आए मुख्यमंत्री ने इसकी घोषणा की थी। इसमें कई महीने लगेंगे। चार लेन मार्ग बनने में भी कई महीने लगेंगे। तब तक ग्रामीणों को जर्जर सड़क से ही गुजरना होगा।उधर, मंझावली पुल निर्माण इसी महीने अंत तक पूरा करने का दावा है। पुल से आवागमन अगले साल फरवरी तक हो सकता है। तब तक यह मार्ग फोरलेन बनना मुश्किल होगा।
बता दें आगरा नहर से लेकर मंझावली तक 13 किलोमीटर सड़क को फोरलेन किया जाएगा। आगरा नहर बाईपास से बल्लभगढ़ तक चार लेन सड़क पहले ही बन चुकी है। तिगांव से विधायक राजेश नागर की मांग पर इस मार्ग को फोरलेन बनाने की घोषणा 27 मार्च को की गई थी।
जर्जर पड़ी सकड़को में फुक देंगे जान:
फिलहाल बल्लभगढ़-तिगांव मुख्य मार्ग दो लेन है, लेकिन गांव के बीच से होकर गुजर रही सड़क किनारे काफी अतिक्रमण है, इस वजह से अक्सर जाम लगा रहता है। सबसे अधिक बुरा हाल तिगांव में है।
यहां स्टेट बैंक आफ इंडिया, कौराली मोड़ और मंधावली मोड़ पर सुबह-शाम वाहनों की लंबी लाइन लग जाती है। इसकी हालत भी खराब हो चुकी है। पूरी सड़क जर्जर है।
एस्टीमेट के लिए किया गया बड़ा मोटा खर्चा :
फोरलेन सड़क बनने के बाद न केवल ग्रामीणों को ही नही बल्कि मंझावली पुल तक आने-जाने वाले वाहन चालकों को राहत मिलेगी। इसके लिए 60 करोड़ रुपये का एस्टीमेट तैयार किया गया है। सड़क के बीच में डिवाइडर होगा, ताकि वाहन इधर से उधर न जा सके। लाइटें भी लगेंगी।
डीपीआर में पेड़ों और बिजली के खंभों की गिनती भी होगी। इसमें सड़क निर्माण से संबंधित पूरी जानकारी एकत्रित की जा रही है। इसे तैयार करने का काम अंतिम चरण में है। कोशिश है कि अगले सप्ताह इसे सरकार के पास भेज दिया जाए।
– सरदार सिंह, कनिष्ठ अभियंता, लोक निर्माण विभाग