अब फरीदाबाद पुलिस के लिए चोरी या छीने गए मोबाइल का पता लगाना आसान हो जाएगा। इसके लिए फरीदाबाद पुलिस ने दिल्ली पुलिस से करार किया है। दिल्ली पुलिस मोबाइल ट्रेस करने के लिए सेंट्रल इक्विपमेंट आइडेंटिटी सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करती है।
सॉफ्टवेयर ढूंढेगा ऐसे मोबाइल
आपको बता दे कि यह सॉफ्टवेयर अधिक कुशल है। अभी तक पुलिस खोए हुए मोबाइल फोन का पता लगाने के लिए अपना इंटरनेशनल मोबाइल इक्विपमेंट आइडेंटिटी (IMEI) नंबर क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एंड सिस्टम (CCTNS) पर अपलोड करती थी। अब सेंट्रल इक्विपमेंट आइडेंटिटी पर IMEI नंबर डालकर आप मोबाइल को ब्लॉक करने के साथ-साथ ट्रेस भी कर सकेंगे। पुलिस के मुताबिक सूचना मिलते ही पीड़िता के खोए हुए मोबाइल का सिम और उसका आईएमईआई नंबर सर्विलांस सिस्टम पर डाल दिया जाता है।
IMEI नंबर से मिलेगी सारी जानकारी
वहीं अधिकारियों का कहना है कि सिस्टम खोए हुए मोबाइल फोन का पता लगाने में भी मदद करता है, लेकिन सेंट्रल इक्विपमेंट आइडेंटिटी सॉफ्टवेयर में अपलोड करने से सफलता दर अधिक होगी। इस सॉफ्टवेयर पर IMEI नंबर अपलोड करने के बाद इसके जरिए चोरी हुए फोन का डेटा तुरंत रिकॉर्ड किया जा सकता है। इससे खोए हुए मोबाइल फोन को खोजने के साथ-साथ उसे आसानी से ब्लॉक भी किया जा सकता है। एनआईटी साइबर थाने के प्रभारी निरीक्षक बसंत ने बताया कि फिलहाल सर्विलांस सिस्टम के जरिए चोरी हुए फोन का पता लगाया जा रहा है। खोए हुए मोबाइल फोन का IMEI नंबर और उसमें डाले गए सिम कार्ड का नंबर सर्विलांस सिस्टम में फीड कर दिया जाता है। इसके जरिए पिछले साल करीब 250 खोए और चोरी हुए फोन को ट्रेस किया जा चुका है।





