दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे का कैल इंटरचेंज बनकर तैयार है। इस पर वाहनों का आवागमन भी शुरू हो गया है। अब बाइपास के साहूपुरा मोड़ से 26 किलोमीटर दूर मिंडकोला तक सीधी कनेक्टिविटी है। पहले साहूपुरा से मिंडाकोला जाने वाले वाहनों को हाईवे पर उतरना पड़ता था और फिर कैल गांव से एक्सप्रेसवे पर चढ़ना पड़ता था। अब एक बार जब आप एक्सप्रेसवे पर सवार हो जाते हैं, तो सीधा संपर्क हो जाता है। इससे हजारों वाहन चालकों का आवागमन सुगम होगा और समय की भी बचत होगी। साथ ही हाईवे पर वाहनों का दबाव भी कम होगा। कैल गांव से करीब 26 किमी की दूरी मिंडकोला तक आवागमन शुरू हो गया है। अलीपुर से दौसा तक का आगे का हिस्सा भी चालू हो गया है। कैल गांव से एक्सप्रेस-वे के पास वाहन चालकों के लिए निकास बनाया गया है। ताकि वे इसका उपयोग कर सकें।
काम तेजी से चल रहा है
आपको बता दे कि दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का निर्माण तेज गति से चल रहा है। एक्सप्रेसवे दिल्ली के डीएनडी फ्लाईओवर से शुरू होता है जो मिंडकोला गांव तक 59 किमी है। पार्ट वन के तहत दिल्ली के डीएनडी फ्लाईओवर से कालिंदीकुंज तक करीब नौ किलोमीटर एक्सप्रेस वे का निर्माण चल रहा है। इनमें से सात किलोमीटर एलिवेटेड हैं। इसके बाद आगरा नहर सहित सेक्टर-37 शमशान घाट के पास आकर बाइपास से जुड़ जाएगा। भाग-2 मलरेना पुल से 24 किमी तीसरा भाग मलेरना पुल से सोहना तक 26 किमी है। सोहना में अलीपुर से दिल्ली-वडोदरा-मुंबई एक्सप्रेसवे का हिस्सा भी यहां जुड़ा हुआ है।
इसी साल बनकर तैयार हो जाएगा एक्सप्रेसवे
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का निर्माण दिनेश आर चंद्रा आर अग्रवाल इंफ्राकॉम प्राइवेट लिमिटेड कंपनी कर रही है। परियोजना की समय सीमा इस वर्ष है। वर्तमान में बाइपास के लगभग सभी चौराहों पर अंडरपास का 60 से 80 प्रतिशत निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। बडोली के सामने एलिवेटेड ब्रिज भी बन रहा है। चांदावली चौराहे पर अंडरपास बनाने का काम भी शुरू हो गया है।