शहर में ग्रीन बेल्ट का निर्माण शहर को हरा भरा बनाने के लिए किया जाता हैं, लेकिन Faridabad की बात ही कुछ और है। यहां की ग्रीन बेल्ट पर पेड़ पौधे नहीं बल्कि अवैध ठेके और अहाते खुले हुए हैं। ग्रीन बेल्टो का ये हाल जब हैं जब साल 2019 में नैशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने नगर निगम को आदेश दिया था कि शहर की किसी भी ग्रीन बेल्ट में अवैध ठेके और अहाते नहीं खुलेंगे।
इतना ही नहीं NGT ने नगर निगम को आदेश दिया था कि वह इन अवैध ठेके और अहातो पर कार्रवाई करें। लेकिन साल 2020 के बाद से निगम ने इन ठेके और अहातो पर कोई कार्रवाई नहीं की हैं। वैसे शहर में फ़िलहाल 40 से ज्यादा ठेके और अहाते ग्रीन बेल्ट पर बने हुए हैं। जानकारी के लिए बता दें कि इन अवैध ठेके और अहातो को लेकर RTI एक्टिविस्ट वरुण श्योकंद ने नैशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल में एक केस दायर किया था।
इस पर जानकारी देते हुए उन्होंने बताया था कि,” ग्रेटर फरीदाबाद हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के अंतर्गत आता है। यहां पर आए दिन ग्रीन बेल्ट में अवैध अहाते और ठेके खोले जा रहे हैं। इन्हें हटाने के लिए प्रशासन को कार्रवाई करनी चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं किया जा रहा है। ठेका जिस जगह पर खोला जा रहा है, उसकी इजाजत ठेका संचालक खुद संबंधित विभाग से लेते हैं। इस वक्त 40 ठेके ग्रीन बेल्ट पर बने हुए हैं।”