फरीदाबाद। दिल्ली-एनसीआर में बढ़ते प्रदूषण स्तर को देखते हुए ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रेप) का दूसरा चरण लागू है, लेकिन इसके बावजूद शहर में निर्माण कार्य बिना रोक-टोक जारी हैं। जगह-जगह चल रहे निर्माण से उठती धूल ने शहर की हवा और भी जहरीली कर दी है।

सेक्टर-16 स्थित दशहरा मैदान में इन दिनों निर्माण कार्य लगातार जारी है। यहां भवन में प्लास्टर का काम कई दिनों से चल रहा है, जिससे आस-पास की हवा में धूल के कण तैर रहे हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि रोजाना उड़ती मिट्टी से सांस लेना मुश्किल हो गया है, लेकिन प्रशासन की ओर से कोई कार्रवाई नहीं की गई।

एनआईटी-दो इलाके में भी खुले में निर्माण सामग्री रखी हुई है। रेत और बजरी को ढकने के बजाय खुले में छोड़ दिया गया है, जबकि ग्रेप के नियमों के अनुसार किसी भी तरह की बिल्डिंग मटेरियल को ढंका होना चाहिए। थोड़ी सी हवा चलते ही रेत उड़ने लगती है, जिससे आसपास के लोग परेशान हैं।

इसी बीच, शहर की वायु गुणवत्ता में भी लगातार गिरावट दर्ज की जा रही है। शनिवार को केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, फरीदाबाद का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 198 दर्ज किया गया। एनआईटी क्षेत्र का एक्यूआई 231 और सेक्टर-30 का 167 रहा। बल्लभगढ़ में प्रदूषण का स्तर सबसे ज्यादा पाया गया, जहां शनिवार शाम सात बजे तक एक्यूआई बढ़कर 273 तक पहुंच गया।



