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जानिए कैसे 1 नवंबर से सभी सरकारी कार्य संभव हो सकेंगे एक क्लिक में

आज का युग बहुत तेजी से बदलता नज़र आ रहा रहा है। लोगो के रहन सहन से लेकर लोगो के काम काज में भी काफी बदलाव आया है सभी आज के टाइम में समय की बचत करने में लगे हुए है ,माना जाता है जो इंसान जितनी धीमी रफ़्तार से कार्य करेगा उसे उतना ही समय लगेगा आज के समाज के साथ जुड़ने में।
आमतौर पर इसी को लेकर एक कहावत भी कहि जाती है कि आज कल चालाक लोगो का जमाना है ,अगर आज के समाज के साथ जुड़ना है तो चालाक बनो।

जानिए कैसे 1 नवंबर से सभी सरकारी कार्य संभव हो सकेंगे एक क्लिक में

इसीलिए लोगो के कार्य और आसान बनाने के लिए राज्ये सरकार द्वारा सभी सरकारी कामकाजों को पेपरलेस ऑफिस की शुरुआत करने का निर्णय लिया गया है | ताकि इससे लोगो की समय और मेहनत दोनों बचे पहले लोगो को घंटो घंटो लाइन में लगकर कागजों पर काम कराने का इंतज़ार करना पड़ता था वही आज सारे कार्य एक क्लिक पर घर बैठे बैठे आसानी से किये जा सकते है।

पेपर लेस्स वर्क की मदद छोटे व्यापार को करने में भी आसानी से शुरू किये जा सकते है। पेपरलेस वर्क की मदद से लोगो को बजेट मेंटेन करने में भी मदद मिलती है। इससे कई तरह के खर्चो में कमी आती है। वहीं समय की भी काफी बचत होती है ,जरुरी डाक्यूमेंट्स को डिजिटल करने से आप कोई भी कार्य आपने स्मार्ट फ़ोन से ही घर बैठे बैठे आसानी से कर सकते है। पेपरलेस कार्य न केवल इंसानो के लिए फायदेमंद साबित हुआ है बल्कि पर्यावरण के लिए भी यह काफी हद तक लाभदायक भी है। जहा पेपर बनाने के पहले सैकड़ों पेड़ो की कुर्बानी दे दी जाती थी वही आज पपरो का कार्य कम होने के कारण पेड़ कम काटे जा रहे है।

बता दे की आधिकारिक फाइलों के प्रसंस्करण के लिए सीएमओ, सीएस कार्यालय और एफडी पहले ही ई-ऑफिस में बदल चुके हैं। डिपार्टमेंट

अभी 22डिपार्टमेंट सरकारी ऑफिस को ई-ऑफिस बनाने का बड़ा प्रस्ताव मिला है |वरिष्ठ अधिकारी ने सभी सरकारी दफ्तरों को 1नवंबर तक इ -ऑफिस में तब्दील होने की समय सिमा निर्धारित की है |

ई-ऑफिस के लिए चुने जाने वाले 22 विभागों में प्रमुख हैं विकास और पंचायत, रोजगार, उच्च शिक्षा, आवास, एचएसआईआईडीसी, सार्वजनिक स्वास्थ्य इंजीनियरिंग, श्रम, ग्रामीण विकास, सामाजिक न्याय और अधिकारिता और विज्ञान और प्रौद्योगिकी।इस बीच, राज्य सरकार द्वारा नए संवैधानिक तंत्र के कामकाज में अधिकारियों का मार्गदर्शन करने के लिए एक विस्तृत मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) रखी गई है।

सूत्रों ने कहा कि ई-ऑफिस कोविद के समय में एक वरदान साबित होगा क्योंकि संबंधित अधिकारी डेस्कटॉप, लैपटॉप और स्मार्टफोन पर इलेक्ट्रॉनिक मोड के माध्यम से फाइलों को डिस्पोज कर सकते हैं, अनावश्यक देरी काट सकते हैं।

एक तरह से देखा जाये तो हरयाणा सरकार द्वारा पेपरलेस ऑफिस की पहल समाज में काफी सहरनिये है। ऐसे अधिकारियों के कार्य की वजह से कहा जा सकता है की हरियाणा प्रशासन कदम बढ़ा चूका है अपने आप को अन्य देशो की तरह एडवांस बनाने मे।

Avinash Kumar Singh

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