एक दिसंबर को ड्राफ्ट कमेटी की बैठक का आयोजन किया जाएगा। इस बैठक के दौरान विधयेक का खाका अंतिम चरण तक पहुंच सकता है। जिसमें उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश से लेकर हरियाणा सरकार भी शामिल होगी। वहीं जानकारी के मुताबिक यूपी में लव जेहाद अध्यादेश के जरिए पहले ही लागू हो चुका है जबकि एमपी में भी इसकी तैयारियां चल रही हैं।
ड्राफ्ट कमेटी के कंधो पर लव जिहद पर अन्य राज्यों के कानूनों का अध्ययन करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। राज्यों के कारणों पर विचार विमर्श किया जाएगा।
लव जिहाद पर कानून बनाने के लिए बनी ड्राफ्ट कमेटी में राज्य के गृह सचिव टीएल सत्यप्रकाश, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक नवदीप सिंह विर्क और अतिरिक्त महाधिवक्ता दीपक मनचंदा शामिल हैं।
कुछ समय पहले हरियाणा के गृह मंत्री विज द्वारा गृह विभाग को शादी का दबाव बनाने के लिए किए गए धर्मांतरण की घटनाओं का आंकड़ा एकत्रित करने के लिए कहा था। वही विभाग द्वारा सभी आंखें एकत्रित करने के बाद पता चला है
कि पंजाब से अलग होकर 1966 में हरियाणा राज्य बनने के वक्त से इस आंकड़े को जुटाना था। हालांकि 64 सालों में शादी के लिए धर्मांतरण के महज 77 मामलों का ही पता चला है। इसमें वे लोग शामिल हैं, जिन्होंने शादी के पहले या उसके दो साल के भीतर धर्मांतरण किया हो।
गौरतलब, 26 नवंबर को फरीदाबाद के बल्लभगढ़ में आने वाले अग्रवाल कॉलेज के सामने हुए निकिता गोली कांड के बाद से ही लव जिहाद का मामला तूल पकड़ता हुआ दिखाई दिया था।
इस पूरे प्रकरण में परिजनों का कहना है था कि तौसीफ खान नामक व्यक्ति द्वारा उनकी बेटी निकिता पर धर्मांतरण कर शादी करने का दबाव बनाया जा रहा था और निकिता के मना करने पर तौसीफ खान ने उस पर गोली चला कर उसकी हत्या कर दी गई थी।