Categories: GovernmentIndia

सीएसडी कैंटीन को लेकर नए आदेश जारी, अब करना होगा इन नियमों का पालन

भारतीय सेना की कई सीएसडी कैंटीन को लेकर नए आदेश जारी किए गए हैं। आदेशों के अनुसार सीएसडी कैंटीन का एक दूसरे में विलय होगा। मैन पावर और जगह की बचत के साथ ही इंफ्रास्ट्रक्चर के बेहतर इस्तेमाल के लिए तय किया गया है कि सेना की उन यूनिट की कैंटीन मर्ज होंगी जो एक दूसरे के नजदीक हैं और जो एक ही जगह (स्टेटिक यूनिट) रहती हैं।

आर्मी हेडक्वॉर्टर के क्वॉर्टरमास्टर जनरल ब्रांच ने सीएसडी (कैंटीन स्टोर्स डिपार्टमेंट ) की उन यूनिट रन कैंटीन (यूआरसी) को मर्ज करने का ऑर्डर इश्यू किया जो एक ही स्टेशन में अलग अलग मिलिट्री इस्टेबलिस्मेंट में चल रही हैं।

सीएसडी कैंटीन को लेकर नए आदेश जारी, अब करना होगा इन नियमों का पालनसीएसडी कैंटीन को लेकर नए आदेश जारी, अब करना होगा इन नियमों का पालन


24 मई को जारी ऑर्डर में कहा गया है कि सेना की स्टेटिक यूनिट (जिनका एक जगह से दूसरी जगह मूवमेंट नहीं होता) की एक यूआरसी को जिसमें सबसे ज्यादा बैनिफिशयरी हैं उसे मर्ज्ड यूआरसी नॉमिनेट किया जाएगा और बाकी सभी यूआरसी सस्पेंडेड मोड में रहेंगी।

इसमें कहा गया है कि इस ऑर्डर से सेना की उन यूनिट की यूआरसी प्रभावित नहीं होगी जिनका रोटेशन होता रहता है। उन्हें मर्जर से छूट मिलेगी। यह ऑर्डर तीनों सर्विसेस यानी आर्मा, नेवी और एयरफोर्स के लिए जारी किया गया है। पूर्व सैनिकों के लिए जो कैंटीन हैं वह मर्ज नहीं होंगी क्योंकि इन कैंटीन पर ज्यादा निर्भरता है।



कौन सी यूआरसी रहेगी और उसमें आसपास की सारी यूआरसी मर्ज होंगी यह बोर्ड ऑफ ऑफिसर्स से तय होगा। बोर्ड में सभी स्टेकहोल्डर्स, फॉर्मेशन कमांडर्स, लोकल मिलिट्री अथॉरिटी और स्टेशन कमांडर होते हैं। जो यूआरसी तय की जाएगी वह ऐसी जगह पर स्थित होनी चाहिए ताकि सभी को आने जाने में सुविधा हो। इसमें कहा गया है कि जो यूआरसी सस्पेंडेड मोड में रहेंगी वह अपना नाम और यूआरसी कोड अपने पास रखेंगी।

वे उसी से ऑपरेट करेंगी इसलिए मर्ज होने के बाद भी सॉफ्टवेयर में बदलाव की जरूरत नहीं होगी। हालांकि सीएसडी डिपो इन सस्पेंडेड यूआरसी से आने वाली कोई डिमांड को आगे नहीं बढ़ाएगा। जो भी प्रोफिट होगा उसे संबंधित हेडक्वॉर्टर की निगरानी में सभी यूआरसी के साथ बांटा जाएगा।

आर्मी के एक अधिकारी के मुताबिक उन यूआरसी को मर्ज किया जाएगा जो स्टेटिक यूनिट में हैं और एक दूसरे से नजदीक हैं। जिनमें पहले से ही कम सामान रहता है और लगभग ना के बराबर टर्नओवर है।

उन्होंने कहा कि एक बार यूआरसी मर्ज हो जाएंगी तो सभी को ज्यादा सुविधा होगी क्योंकि तब इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार होगा और कैंटीन किसी मॉल की तरह होंगी। मैनपावर की और जगह की बचत तो होगी ही, जिसका बेहतर इस्तेमाल किया जा सकता है।

उन्होंने बताया कि स्टेशन कमांडर यह तय कर सकते हैं कि उनके स्टेशन में कितनी कैंटीन की जरूरत है। अभी इस सबसे बड़े स्टोर यानी सीएसडी के लेह से लेकर अंडमान तक कुल 33 डिपो हैं। जिसमें करीब 2500 सीएसडी कैडर हैं। अभी करीब 3700 यूआरसी (यूआरसी) हैं।

Avinash Kumar Singh

Published by
Avinash Kumar Singh

Recent Posts

फरीदाबाद की जनता घर बैठे कर सकेगी अपनी शिकायतें दर्ज, नगर निगम ने निकाला नया रास्ता

फरीदाबाद में लोगों को अब अपनी समस्याओं को रखने के लिए अलग-अलग दफ्तरों के चक्कर…

20 hours ago

फरीदाबाद के इन 17 सरकारी स्कूलों में होने वाला है बड़ा बदलाव, विधायक संग हुई प्रधानाचार्यों की बैठक

फरीदाबाद में अब सरकारी स्कूलों पर दिया जाएगा विशेष ध्यान। दरअसल बड़खल विधानसभा में सभी…

21 hours ago

फरीदाबाद के इन 17 सरकारी स्कूलों में होने वाला है बड़ा बदलाव, विधायक संग हुई प्रधानाचार्यों की बैठक

फरीदाबाद में अब सरकारी स्कूलों पर दिया जाएगा विशेष ध्यान। दरअसल बड़खल विधानसभा में सभी…

21 hours ago

फरीदाबाद के इन 17 सरकारी स्कूलों में होने वाला है बड़ा बदलाव, विधायक संग हुई प्रधानाचार्यों की बैठक

फरीदाबाद में अब सरकारी स्कूलों पर दिया जाएगा विशेष ध्यान। दरअसल बड़खल विधानसभा में सभी…

21 hours ago

फरीदाबाद के इन 17 सरकारी स्कूलों में होने वाला है बड़ा बदलाव, विधायक संग हुई प्रधानाचार्यों की बैठक

फरीदाबाद में अब सरकारी स्कूलों पर दिया जाएगा विशेष ध्यान। दरअसल बड़खल विधानसभा में सभी…

21 hours ago

फरीदाबाद में इस गांव के स्टेडियम का होगा पुनर्निर्माण, हुआ 1 करोड़ का बजट पास…

फरीदाबाद में करोड़ों रुपए की लागत से खेल स्टेडियम का कायाकल्प होने वाला है। बता…

21 hours ago