महामारी का दौर तो कम हो गया है, लेकिन अभी है पूर्ण रूप से खत्म नहीं हुआ है। करीब 1 महीने पहले महामारी का दौर इतना ज्यादा था कि सरकार को समय-समय पर जिले के मोस्ट कंटेनमेंट जोन की लिस्ट जारी करनी पड़ती थी।
ताकि उस एरिया में रहने वाले लोग व उस एरिया में आने जाने वाले लोग सतर्क हो सके और अपनी व अपने परिवार को महामारी से सुरक्षित रख सके। इसी के चलते उनके द्वारा समय-समय पर कंटेनमेंट जोन की लिस्ट जारी की जाती थी।
जिसमें उनके द्वारा बताया जाता था कि कौन सा सेक्टर या गली को कंटेनमेंट जोन के अंदर रखा गया है। लेकिन अब महामारी का दौर कम हो चुका है, लेकिन खत्म नहीं हुआ है। अभी भी हर रोज करीब 10 मरीज पॉजिटिव पाए जा रहे हैं और यह मरीज जिस भी एरिया से पाए जा रहे हैं वह कंटेनमेंट जोन है यानी उस एरिया में जाने से अभी भी लोगों को बचना चाहिए।
लेकिन इस बार सरकार के द्वारा जो पल्स पोलियो अभियान चलाया जा रहा है। उसमें यह कंटेनमेंट जोन मुख्य भूमिका निभाएंगे। क्योंकि सरकार के द्वारा इन कंटेनमेंट जोन को हाई रिस्क एरिया घोषित किया गया है और इन्हीं एरिया में पल्स पोलियो अभियान मुख्य रूप से चलाया जाएगा।
ताकि इस एरिया में रहने वाले 5 साल कम उम्र के बच्चे इस पल्स पोलियो अभियान से अछूते न रहे सके। क्योंकि स्वास्थ्य विभाग के द्वारा इस बार जो पल्स पोलियो अभियान 27 जून से लेकर 29 जून तक चलाया जाएगा। उस में जिले के मोस्ट हाई रिस्क एरिया में ही पल्स पोलियो अभियान चलाया जाएगा।
इस बार हाई रिस्क एरिया में कंटेनमेंट जोन को रखा गया है। इसीलिए इस बार जो पल्स पोलियो अभियान 27 जून से शुरू किया जाएगा। वह कंटेनमेंट जोन पर आकर्षित होगा। विभाग से मिली जानकारी के अनुसार इस बार उनका जो टारगेट है वह करीब 300000 बच्चों को दो बूंद जिंदगी की पिलाने का टारगेट है।
उन्होंने बताया कि उनके पास इस अभियान के लिए करीब 3,60000 पोलियो ड्रॉप मौजूद है। इसके अलावा सभी स्वास्थ्य केंद्रों से लिस्ट मांगी गई है कि उनको कितनी ड्राप की जरूरत है और उनके एरिया में कौन सा क्षेत्र है जो हाई रिस्क एरिया है।
करीब 1 महीने पहले महामारी से ग्रस्त मरीजों की संख्या में काफी इजाफा देखने को मिल रहा था। तभी उसी दौरान प्रशासन के द्वारा जिले के विभिन्न क्षेत्रों को कंटेनमेंट जोन के अंदर रखा गया था। क्योंकि उस दौरान उस एरिया के सबसे ज्यादा लोग महामारी की चपेट में आ रहे थे।
इसीलिए उस एरिया में रहने वाले लोग व उस एरिया में आने जाने वाले लोगों को सतर्क करने के लिए प्रशासन के द्वारा घोषित की गई थी। जिसमें सबसे ज्यादा महामारी से ग्रस्त मरीज़ पाए जा रहे थे, वह है ग्रीन फील्ड कॉलोनी, सेक्टर 15, सेक्टर 14, सेक्टर 16, एनआईटी 1 नंबर, 2 नंबर व 3 नंबर, जवाहर कॉलोनी, डबुआ कॉलोनी, चावला कॉलोनी, सेक्टर 3, सेक्टर 18, सेक्टर 19, सेक्टर 28, सेक्टर 29, सेक्टर 21 व सेक्टर 46 आदि शामिल है। अब स्वास्थ्य विभाग के द्वारा जो पल्स पोलियो अभियान चलाया जाएगा। व्हिस एरिया में भी चलाया जाएगा क्योंकि यह एरिया हाई रिस्क घोषित है।
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