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बिजली चोरी में शामिल अफसर हैं अब निशाने पर, फरीदाबाद सहित इन जिलों में होगी कार्यवाही

हरियाणा में बिजली चोरों के खिलाफ लिया गया महत्वपूर्ण निर्णय। सरकार छापेमारी अभियान के बाद विभाग में छिपी काली भेड़ों पर शिकंजा कसने की तैयारी में है। उत्तर व दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगमों के सौ से अधिक अफसरों और कर्मचारियों का काला चिट्ठा तैयार किया गया है। इनमें कंप्यूटर आपरेटर, शिफ्ट अटेंडेंट, सहायक लाइनमैन, लाइनमैन, जेई, एसडीएम से लेकर एक्सईएन व एससी रैंक के अधिकारी शामिल हैं।

सरकार ने बिजली चोरी के मामलों में संदिग्ध भूमिका अदा करने वाले अफसर और कर्मचारियों को नोटिस जारी करने के आदेश दिए हैं।

बिजली चोरी में शामिल अफसर हैं अब निशाने पर, फरीदाबाद सहित इन जिलों में होगी कार्यवाही

नोटिस का जवाब आने के बाद आरोपितों के खिलाफ कारवाई शुरू की जाएगी। बिजली चोरी के लिए सीधे तौर पर जिम्मेदार लोगों को चार्जशीट भी किया जा सकता है। औद्योगिक क्लस्टर के रूप में उभरकर सामने आए गुरुग्राम, फरीदाबाद, मानेसर, धारूहेड़ा व रेवाड़ी क्षेत्र में बिजली चोरी के अधिक मामले सामने आए हैं। इन क्षेत्रों में बिजली की खपत बहुत अधिक है।

प्रख्यात आईटी कंपनियों और कॉल सेंटर के अलावा मारुति, होंडा, एस्कॉर्ट की बड़ी यूनिट इन्हीं क्षेत्रों में स्थित है। बड़ी क्रेन और जेसीबी की कंपनियां भी इसी क्लस्टर में हैं। स्मार्ट मीटर योजना की शुरुआत भी इसलिए की गई ताकि बिजली चोरी पर लगाम लगाया जा सके।

दरअसल प्रदेश में इस वर्ष बिजली चोरों के खिलाफ दो बड़े स्तर पर अभियान चलाए जा चुके हैं। पहले फरवरी में फिर जुलाई में बिजली निगमों के अधिकारियों व कर्मचारियों ने पुलिस के साथ मिलकर पूरे प्रदेश में छापेमारी की।

जुलाई के पहले सप्ताह में हुई दूसरी बड़ी रेड लगातार दो दिन तक चली। इसी बीच पांच सौ से अधिक टीमों ने कुल 29 हजार 948 प्रतिष्ठानों पर छापेमारी की। छापेमारी को पूरी तरह से गोपनीय रखा गया। इस मुहिम के दौरान छः हजार से ज्यादा स्थानों पर बिजली चोरी पकड़ी गई।

कई ऐसे भी मामले सामने आए हैं जिनमें करोड़ों रुपए बकाया होने के कारण बिजली कनेक्शन कटे हुए थे। अफसरों की मिलीभगत के चलते इन प्रतिष्ठानों पर अवैध रूप से बिजली कनेक्शन लेकर सरकार को करोड़ों रुपए का चूना लगाया जा रहा था।

जिला स्तर पर अधिकारियों व कर्मचारियों की मिलीभगत सामने आने के बाद बिजली मंत्री रणजीत सिंह चौटाला ने विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पीके दास और दोनों निगमों के प्रबंध निदेशकों (एमडी) को विभागीय कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं।

बिजली मंत्री ने कहा कि इस साल दो बार बड़े पैमाने पर छापामारी अभियान चलाया जा चुका है। जिसमें आठ हजार से अधिक स्थानों पर बिजली चोरी पकड़ी गई। जिन अधिकारियों व कर्मचारियों की भूमिका संदिग्ध रही है। उन सभी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी।

Avinash Kumar Singh

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