वायु प्रदूषण इन दिनों देश की सबसे बड़ी समस्या बन चुका है,क्योंकि आए दिन देश की हवा खराब होती जा रही है। पहले जहां सिर्फ दिल्ली की हवा ही खराब रहती थी, अब वही शहर की भी हवा खराब होने लगी है। जिस वज़ह से शहर के लोगों को साफ हवा नहीं मिल पा रही है, जिससे उनका यहां पर रहना दुर्भर हो गया है।
वैसे शहर में बढ़ते हुए वायु प्रदूषण की असली वजह सड़कों पर लगने वाला जाम है और छोटी बड़ी कंपनियां है। क्योंकि वाहनों और कंपनियों में से धुआं निकलता है, जिस वजह से शहर की हवा दूषित हो जाती है। बता दे कि केन्द्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की एक रिपोर्ट के मुताबिक शहर की सड़कों पर दौड़ने वाले 15.84 लाख वाहनों में से 40 फीसदी वाहन वायु प्रदूषण फैलाते है।
इसी के साथ बता दें कि इस वक्त शहर में सबसे ज्यादा जाम दिल्ली-आगरा हाईवे स्थित बडकल, ओल्ड फरीदाबाद, अजरौंदा, बाटा चौक, हार्डवेयर चौक, NH 1 से बीके चौक, बीके चौक से नीलम चौक, बड़खल ओवर ब्रिज, केसी मार्ग, NIT 3, ESIC मार्ग पर लगता है। वैसे सड़कों पर जाम लगने की मुख्य वजह सड़कों का जर्जर होना और सड़क किनारे वाहनों का खड़ा होना है।
जानकारी के लिए बता दे कि शहर में रोजाना करीब 3 लाख वाहनों का आवागमन होता है। क्योंकि शहर में डबुआ सब्जी मंडी, हरियाणा की सबसे बड़ी मछली मार्केट, NIT बाजार, बीके सिविल अस्पताल, ESIC मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल, नगर निगम मुख्यालय, बैंकों की मुख्य ब्रांच, NIT बस अड्डा आदि है।
इस समस्या पर नगर निगम के मुख्य अभियंता बीरेंद्र कर्दम का कहना है कि,”शहर की सड़को पर वाहनों का बढ़ता दवाब वायु प्रदूषण बढाने में खासी भागीदारी करता है। पुलिस भी प्रदूषण नियंत्रण की कार्ययोजना में शामिल है। जाम नहीं लगे तो प्रदूषण में कमी होगी।”