योगी सरकार क्या उपचुनावों में होगी स्वीकार या चलेगा बसपा का फार्मूला

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चुनाव आयोग ने यूपी में विधानसभा उपचुनाव की तारीखों का ऐलान कर दिया है। सूबे में 3 नवंबर को 7 सीटों पर उपचुनाव होंगे और 10 नवंबर को चुनाव के नतीजे सामने आएंगे। प्रदेश में आठ सीटों पर उपचुनाव होने थे लेकिन चुनाव आयोग ने स्वार सीट पर अभी चुनाव नहीं कराने का फैसला किया है जिसका मतलब साफ है कि अब सूबे की सात सीटें घाटमपुर, टूंडला, देवरिया, बांगरमऊ, नौगांवा में खाली हुई सीट पर उपचुनाव होगा।

चुनाव आयोग ने उपचुनाव को लेकर जो जानकारी दी है। उसके मुताबिक अक्टूबर तक नामांकन पर्चा खरीदा जा सकता है। 16 अक्टूबर तक नामांकन करने की आखिरी तारीख 19 अक्टूबर तक उम्मीदवार के नाम वापसी होगी। 3 नवंबर को 7 सीटों पर मतदान होगा जिसका परिणाम 10 नवंबर को उपचुनाव के नतीजे आएंगे।

योगी सरकार क्या उपचुनावों में होगी स्वीकार या चलेगा बसपा का फार्मूला

इधर जिन सात सीटों पर उपचुनाव होने हैं वहां सियासी दल पहले से ही जोर आजमाइश कर रहे हैं। सीएम योगी ने उपचुनाव वाले क्षेत्रों में जाकर पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ जीत की रणनीति तैयार की है तो सपा, कांग्रेस ने भी उपचुनाव में जीत के लिए पूरी ताकत लगा दी है।

वहीं आपको बता दे कि बसपा सुप्रीमो मायावती ने यूपी विधानसभा उपचुनाव के लिए चुनावी बिसात बिछानी शुरू कर दी है।

योगी सरकार क्या उपचुनावों में होगी स्वीकार या चलेगा बसपा का फार्मूला

जातीय समीकरण के आधार पर संभावित उम्मीदवारों को मैदान में तैयारियों में जहां लगाया जा चुका है, वहीं मुख्य सेक्टर प्रभारियों को भी जातिगत आधार पर समीकरण बैठाने के लिए कहा गया है। संभावित उम्मीदवारों में कुछ सीटों पर बदलाव की संभावना भी जताई जा रही है।

बहरहाल यूपी की सत्ता पर बीजेपी को काबिज हुए लगभग साढ़े 3 साल का वक्त बीत चुका है। ऐसे में अब निर्वाचित विधायकों के पास सदन में बैठने का बहुत ज्यादा मौका नहीं होगा। सभी 7 निर्वाचित विधायक डेढ़ साल से भी कम वक्त के लिए निर्वाचित होंगे।