Haryana के इस व्यक्ति ने अपने शौक के दम पर बनाई अपनी पहचान, आज विदेश तक जानते हैं लोग

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 Haryana के इस व्यक्ति ने अपने शौक के दम पर बनाई अपनी पहचान, आज विदेश तक जानते हैं लोग

आपने अक्सर अपनी जिंदगी में सुना होगा कि शौक बड़ी चीज़ है, व्यक्ति का यह शौक उसकी जिंदगी बिगाड़ भी सकता हैं और बना भी सकता हैं। बस ये उस व्यक्ति पर निर्भर करता है कि उसका शौक क्या है। अगर उसका शौक अच्छा है तो आगे जाकर उसे वाहवाही मिलेगी। जैसे आज अंबाला छावनी में माल रोड के जगमोहन सेठ को मिल रही हैं।

Haryana के इस व्यक्ति ने अपने शौक के दम पर बनाई अपनी पहचान, आज विदेश तक जानते हैं लोग

दरअसल उन्हें बचपन में एक शौक की लत इस क़दर लगी की वह आज अपने इस शौक से देश में ही नहीं बल्कि दुनिया में भी मशहूर हैं। उनका यह शौक है Coin Collection का, उनके पास आपकों हर तरह के, हर काल के, हर शासक के Coin मिल जाएंगे। जगमोहन सेठ ने अपनी 52 साल की उम्र तक आते-आते तक्षला,ब्रिटिश काल और आजाद भारत के करीब ढाई लाख सिक्कों की Collection कर डाली है।

जगमोहन सेठ ने बातचीत करते हुए बताया कि जब वह 6th Class में थे,तो उनके पिता लखबीर सिंह सेठ ने इन्हे कुछ सिक्के दिए थे। उन्होंने इन सिक्कों को अपने स्कूल कान्वेंट आफ जीजेस एंड मेरी में लगा दिया था, जिसके बाद से उनका Coin Collection का सफ़र शुरू हुआ।

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जब वह 11वीं-12वीं क्लास में थें तो, इस दौरान उनके पिता उनसे नाराज हो गए। क्योंकि वह पढ़ाई से ज्यादा सिक्कों पर ध्यान दे रहे थे। अपने पिता की इस नाराजगी को दूर करते हुए उन्होंने Coin Collection बंद कर दी और GMN कालेज से अपनी B.COM और C.A का कोर्स किया। साल 1994 में कोर्स खत्म होते ही उन्होंने फिर से Coin Collection शुरू कर दी।

इतना ही नहीं सिक्कों के गहन अध्ययन के लिए इन्होंने MA न्यूमेसमेटिक्स एंड आर्कियोलॉजी मुंबई यूनिवर्सिटी से की। सिक्कों को पढ़ने के लिए उन्होंने उर्दू, ब्रह्मी, खराेष्ठी, ग्रीक व पंजाबी भाषा भी सीखी। बता दे कि उनके पास तक्षला की बैंटबार, पंचमार्क सिक्के हैं, ये सिक्के 300 साल ईसा पूर्व पूराने है।

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इन सिक्कों के अलावा उनके पास काशी जनपद, मार्या जनपद, पांचाल जनपद के पंचमार्क ,शुंघाकाल, कुषाण काल, गुप्ता, चौहान काल, 11वीं सदी के सुल्तानों के सिक्के जिनमें मोहम्मद खिलजी है, बलबन, रजिया सुलतान, मोहम्मद तुगलक जैसे शासकों के समय के सिक्के हैं। इनके साथ ही उनके पास शेरशाह सूरी, इस्लामशाह, इब्राहिम लोदी, बाबर, हिमायुं, अकबर, जहागीर,शाहजहां, ओरंगजेब से लेकर बहादुरशाह जफर तक के समय के सिक्के हैं।

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उनके पास हरियाणा-पंजाब के ट्राइबल किंग जिनमें अग्रोहा के सिक्के, योद्धा, राजनस्य, अर्जुनस्य, अडूंबरा, कुनिंदा काल के सिक्कों की भी अच्छी कलेक्शन है। इनके पास ब्रिटिश काल के सिक्के और आजाद भारत के लगभग सभी सिक्के हैं।

जानकारी के लिए बता दें कि वर्तमान में जगमोहन सेठ ओरिएंटल न्यूमेसमेटिक्स सोसायटी लंदन के सदस्य, न्यूमेसमेटिक्स सोसायटी बनारस के लाइफ मेंबर हैं। ये 100 से पुरानी सोसायटी है, जो सिक्कों के ऊपर अध्ययन करती हैं।इन सब के अलावा वह नेशनल न्यूमेसमेटिक्स सोसायटी लुधियाना के सदस्य और दिल्ली, कर्नाटक, कोटा, गुजरात, मुंबई, जयपुर के लाइफ मैंबर हैं।

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