कोरोनावायरस का संक्रमण भारत में एक समानता का दस्तक लेकर आया यहां समानता का अर्थ यह है कि इस वायरस की गिरफ्त में देश का हर क्षेत्र आ गया। चाहे इसमें फिल्मी जगत हो या फिर उद्योगपतियों के लिए इंडस्ट्रियल एरिया।
ऐसे में छोटे-मोटे रेहड़ी पटरी वालों के और अन्य व्यापारियों के बारे में तो अंदाजा लगाना बेहद आसान होगा। 3 महीने तक हर व्यक्ति अपनी आजीविका के लिए सरकार के आदेशों पर टकटकी नजर लगाए देखता रहा।
वही जब 3 महीने बाद अनलॉक प्रक्रिया शुरू की गई तो धीरे-धीरे सभी क्षेत्रों अपने आयाम पर लौटने लगे चाहे उसमें उद्योगपति द्वारा चलाई जा रही कंपनी हो या फिर फिल्मों की शूटिंग हो या ब्यूटी पार्लर और मिठाई की दुकानें हो। वहीं दूसरी ओर अभी भी कुछ ऐसे लोग और शेत्र हैं जिन पर रियायत ओं की बौछार तो दूर एक बूंद तक नहीं बरसी है।
मालूम हो की बीते दिनों सरकार द्वारा मॉल और कॉन्प्लेक्स को खोलने की अनुमति दे दी थी लेकिन वही सिनेमाघरों पर अभी तक अंकुश लगा हुआ है। ऐसे में सिनेमाघरों पर आधारित लोग असमंजस में पड़े हुए हैं कि इतने महीने बाद भी सरकार ने उन्हें कोई रियायत नहीं दी है ऐसे में अब उनके सामने रोजी-रोटी का सवाल खड़ा हो गया है तो उन्हें समझ नहीं आ रहा कि वह सरकार के आदेश का कब तक इंतजार करें या फिर वह कुछ अन्य काम शुरू कर दें।
लेकिन अब सरकार ने इन लोगों को भी रियायत देने का फैसला लिया है और हो सकता है अगले महीने से सिनेमा घर के द्वारा को भी खोल दिया जाएगा। वही इस बात का पूरा ध्यान रखना होगा कि सोशल डिस्टेंस हैंड सैनिटाइजर फेस मास्क इत्यादि सावधानी के बाद ही सिनेमाघरों को खोलने की इजाजत दी जाएगी।
आपको बता दें की लॉक डाउन होने से पहले तक कुछ ऐसी फिल्में थी जिनको लॉकडाउन के मध्य की तारीखों में रिलीज किया जाना था लेकिन लॉकडाउन के चलते अब इन फिल्मों को ऑनलाइन रिलीज किया जा रहा है जिनमें नेटफ्लिक्स, अमेजॉन, एम एक्स प्लेयर, डिजनी हॉटस्टार जैसे माध्यमों को चुनकर अपनी फिल्में इन पर रिलीज की जा रही है।