देश, विदेश, प्रदेश, क्षेत्र में जिस प्रकार कोरोना का केहर कम होने का नाम नहीं ले रहा है, उसी प्रकार साइबर क्राइम भी चरमा रहा है। हरियाणा पुलिस ने राज्य में साइबर क्राइम से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए हर जिले में साइबर रिस्पांस सेंटर स्थापित करने का निर्णय लिया है। हरियाणा के पुलिस महानिदेशक मनोज यादव का दावा है कि इस फैसले से प्रदेश में साइबर क्राइम पर लगाम कसने में और मदद मिलेगी।
अख़बार हो या न्यूज़ चैनल सभी जगह आज – कल साइबर क्राइम की ख़बरें भरी होती हैं। कुछ समय से साइबर क्राइम में सामने आ रहे नए प्रचलन पुलिस के लिए चुनौती बनते जा रहे हैं। पुलिस को नई चुनौतियां मिल रही हैं।
साइबर अपराधी नए – नए तौर तरीकों से अपना शिकार करते हैं। डीजीपी ने बताया कि ये सेंटर डिजिटलीकरण और तेजी से आधुनिकीकरण के कारण उभरती चुनौतियों के बढ़ते खतरों को ध्यान में रखते हुए मौजूदा साइबर सेल को सुदृढ़ कर बनाए जाएंगे। बैंक धोखाधड़ी, भुगतान गेटवे का मिसयूज, फेसबुक, ट्विटर आदि सहित साइबर संबंधी सभी शिकायतों का इन केंद्रों के माध्यम से निपटान किया जाएगा।
ठगों द्वारा सबसे अधिक प्रयोग किया जाने वाला तरीका क्रेडिट, डेबिट कॉर्ड के जरिये ठगने का होता है। कोरोना के प्रसार के कारण साइबर अपराध में तेजी देखी गई है, क्योंकि जालसाज लोगों को ठगने के लिए वर्तमान में उत्पन्न स्थिति और अनिश्चितता का इस्तेमाल कर रहे हैं।
ये सेंटर विशेष साइबर कर्मियों की तैनाती के साथ मजबूत किए जाएंगे। हाल ही में भर्ती हुए टेक-सेवी उप-निरीक्षकों और कांस्टेबलों की सेवाओं का उपयोग इस उद्देश्य के लिए किया जाएगा।
फरीदाबाद में तो ठगी के ऐसे मामले सामने आ चुके हैं कि यकीन कर पाना कठिन है। ठग फ़ोन करके फील्मों की तरह परिचय करते हैं। फिर उनसे ठगी करते हैं। पुलिस साइबर अपराध व उससे जुड़ी सावधानियों के बारे में लोगों को शिक्षित व जागरूक करने के लिए कॉलेजों, स्कूलों और कॉलोनियों आदि का दौरा करेगी।
साइबर सुरक्षा जागरूकता कार्यक्रम भी शुरू किया जाएगा ताकि बच्चों को साइबर बुलिंग, साइबर स्टॉकिंग आदि से बचाया जा सके। साइबर रिस्पांस सेंटर