फरीदाबाद में फिर जी उठेंगे गांव के तालाब : जल ही कल है, जल ही अब है, जल ही सब है। पानी के बिना सबकुछ बकवास है लेकिन प्रदेश ही नहीं बल्कि देश में लोग जल की महत्वता को नहीं समझ रहे हैं। फरीदाबाद में गांव के तालाबों को एक बार फिर से जीवंत करने की मुहिम शुरू हो गई है। स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के तहत पहले चरण में कुछ गांवों का चयन हुआ है।
जल के बिना सभी की जिंदगी अधूरी है, हम सभी को जल बचाना होगा। फरीदाबाद में तीन और पांच तालाब विधि पर काम चल रहा है। इस मुहिम का मकसद भूजल स्तर बढ़ाने के साथ ही गांव में तालाब के पानी को खेतों की सिचाई के लिए प्रयोग करना भी है।
हरियाणा सरकार हो या कोई अन्य राज्य सरकार सभी को जल बचाने के लिए कार्य करना चाहिए। फरीदाबाद में फिलहाल अधिकतर गांव में तालाबों की हालत बेहद खराब है। कहीं अवैध कब्जे व अतिक्रमण, तो कहीं तालाब के अंदर कचरे के ढेर लगे हैं। इससे न तो भूजल स्तर पर फर्क पड़ रहा है और न ही इस पानी का सदुपयोग हो पा रहा है।
देश और प्रदेश में जिस प्रकार भूजल स्तर गिरता जा रहा है वो अति भयानक है। पहचान टीम को गाँव वालों ने बताया कि फरीदाबाद के गांव के तालाबों का पुनर्निर्माण किया जा रहा है। जहां जरूरी हैं, वहां नए तालाब खोदे जा रहे हैं। यमुना नदी किनारे बसे मंझावली, अरुआ सहित पियाला और फरीदपुर के तालाबों को तीन व पांच तालाब विधि के रूप में तब्दील किया जा रहा है।
महामारी कोरोना के बीच यह सराहनीय कदम किसी भी सरकार के लिए बहुत अच्छा है। फरीदाबाद में इस विधि से गंदा पानी साफ हो सकेगा और इसका प्रयोग फसलों की सिंचाई में होगा। गांव फज्जुपुर खादर में नए तालाब का निर्माण हो रहा है। नचौली, कांवरा, शाहबाद और लहंडोला में तीन और पांच तालाब विधि से काम शुरू होने वाला है।