चालान काटने में मशगूल ट्रैफिक पुलिस ने कोविड-19 की पर्ची पर काटा 500 का चालान। कोविड-19 से बचने के लिए ट्रैफिक नियम पहले से भी ज्यादा सख्त कर दिए गए हैं ऐसे में ट्रैफिक को कंट्रोल करने वाला पुलिस चालान काटने में इतना मशगूल हो गया है कि उसे किस पर्ची पर चालान काटना है इस बात तक की सुध नहीं है।
ऐसे ही एक मामले फरीदाबाद से सामने आया है जहां मंगलवार को पुलिस ने एक स्कूटी सवार का चालान मास्क का चालान काटने वाली बुक की रसीद कार तो दी परंतु वह भी ऐसी पर्ची पर जिस पर पहले किसी का चालान काटा जा चुका है। उसका नाम काट कर दोबारा चालान काटा गया है। स्कूटी सवार ने मास्क भी लगाया हुआ था।
सेक्टर-3 के रहने वाले आदर्श ने पुलिस आयुक्त ओपी सिंह को ऑनलाइन भेजी शिकायत में बताया कि वह और उसका दोस्त मानवेंद्र सिंह स्कूटी से मंगलवार को बल्लभगढ़ मेन बाजार किसी काम से गए थे। अंबेडकर चौक पर ट्रैफिक पुलिस चालान काट रही थी।
इस दौरान ट्रैफिक पुलिस के एक हवलदार ने उन्हें रोक कर कागज दिखाने के लिए कहा। जब उसे सभी कागज दिखा दिए, तो वो साइड में ले गया। वह बोला कि अदालत के चक्कर काटने पड़ेंगे और 2000 रुपये लगेंगे। यहीं पर चालान भुगत लो।
उन्होंने पूछा चालान किस बात का, तो वह बोला स्कूटी की नंबर प्लेट गलत है। जबकि प्लेट भी ठीक थी। इस दौरान उसने उनसे 500 रुपये ले लिए और कोविड-19 की रसीद जो नरेश के नाम से कटी हुई, उसी रसीद पर उसका नाम आदर्श लिख कर दे दी।
इतना ही नहीं उसने नरेश के हस्ताक्षर काट उसके हस्ताक्षर करा लिए, जबकि वहां पर चालान एक सहायक उपनिरीक्षक ऑनलाइन मशीन से काट रहा था। चालान काटना ही था, तो ऑनलाइन मशीन से काटते है।
सुभाष चंद (प्रभारी, ट्रैफिक थाना पुलिस फरीदाबाद) का कहना है कि यदि किसी हवलदार ने ऐसा किया है, तो शिकायत मिलने पर उसकी जांच कराई जाएगी। अभी सीपी कार्यालय से उन्हें शिकायत नहीं मिली है।