पुलिस अपनी जेब भरने के लिए काट रही है चालान,नही जमा कर रही बकाया राशि

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घोटाले की खबरे तो अपने बहुत सुनी होंगी लेकिन इस घोटाले को सुनकर आपके होश उड़ जायेंगे।घोटाले के मामले में अगर कोई सबसे ज्यादा बदनाम  है तो वो है पुलिस कर्मी। आये दिन ऐसे कई मामले या ऐसी कई तस्वीर सामने आती है जीमने पुलिस कर्मी रिश्वत लेते हुए पकडे जाते है। अक्सर देखा गया है की लगभग सभी सरकारी कर्मचारी अपनी जेब भरने के लिए आम जनता को परेशान  करते है।

पुलिस अपनी जेब भरने के लिए काट रही है चालान,नही जमा कर रही बकाया राशि

सरकारी कर्मचारीओ को अधिकार दिए जाते है जनता की मददत करने के लिए लेकिन बो अक्सर इस अधिकार का गलत फायदा उठाते दिखते है ।अगर किसी आम जनता को कोई सरकारी काम करवाना हो तो उसके लिए उसे पहले रिस्वत देनी पड़ती है ,तभी जाकर उसका कार्य सम्पूर्ण होता है ।बिना ।

हम सबने देखा होगा कि हर चौराहे पर हमारी सुरक्षा के लिए पुलिस तैनात होती है ,ताकि जनता को अवह जाहि में किसी भी प्रकार की समस्या का सामना ना करना पड़े ।पुलिस को अधिकार दिए जाते है कि अगर कोई भी व्येक्ति ट्रैफिक रूल तोड़ता दिखता है तो उसके खिलाफ शाक्त कार्य वाही की जाए ।और रूल्स तोड़ने पर उसका चालान भी काटा जाए।

पुलिस अपनी जेब भरने के लिए काट रही है चालान,नही जमा कर रही बकाया राशि

और इससे बात में कोई दोराही नही है कि पुलिस रूल्स तोड़ने वाले के खिलाफ कार्य वही नही कर रही।आपको बतादे की लॉक डाउन के दौरान कुल 27942 चालान काटे जा चुके हैं।लेकिन सवाल तब उठता है जब चालान काटने के बाद उनका हिसाब सरकार के पास भी ना हो ।

आपकी जानकारी के लिए बता दे कि 500/- की दर से इसकी कुल जुर्माना राशि हुई 1,39,71,000/-,
फरीदाबाद पुलिस ने सरकारी खाते में कुल जमा करवाये ₹97,08,500/-।अब सवाल उठता है कि बचा हुआ ₹42,62,500/कहा गया ।

पुलिस अपनी जेब भरने के लिए काट रही है चालान,नही जमा कर रही बकाया राशि

हैरानी की बात तो यह है कि पुलिस आयुक्त  की लाख कोशिशों के बाद भी, किन्हीं कारणों से विभाग की छवि सुधार  नहीं पा रही।क्योंकि आज भी ऐसे कई रिश्वत खोरी पुलिस कर्मी सेना में भर्ती है जिन्हें अपने देश से नही सिर्फ अपनी जेब भरने से मतलब है ।