फरीदाबाद : दुनिया भर में कोरोना की वजह से हाहाकार मचा हुआ है । इसी के मद्देनजर दिल्ली फरीदाबाद बॉर्डर को सील कर दिया गया ।इसी बंद का ऐसे कई चीजों पर पड़ने लगा है वहीं फरीदाबाद में इ एस आई सी अस्पताल में टेस्टिंग लैब में काम करने वाले कर्मचारियों को भी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है ।
दिल्ली में रहने वाले कई मेडिकल स्टाफ फरीदाबाद में अस्पताल और टेस्टिंग कब में कार्य करते है । लेकिन बॉर्डर सील होने की वजह से उन्हें काफी दिक्कतें आ रही है ।
दिल्ली की रहने वाली सूक्ष्म जीव वैज्ञानिक चारु जैन ने अपनी दुख भारी दास्तां सांझा की ।उन्होंने बताया कि वे दिल्ली में रहती है लेकिन फरीदाबाद की सरकारी लैब में काम करती है ।
जब वे बुधवार सुबह फरीदाबाद जाने के लिए घर से निकली तो उन्हें बॉर्डर पर रोक लिया गया । कई बार समझाने के बाद , अपने प्रोफेशन कि बताते हुए उन्हें फरीदाबाद आने की अनुमति दे दी गई ।उनके पास मूवमेंट पास होने के बावजूद भी उन्हें जाने नहीं दिया जा रहा था ।उनसे यहां तक कहा गया कि वो दोपहर बाद बॉर्डर क्रॉस नहीं कर सकती ।
इस समय उनके सामने दो बातों ने उन्हें तनाव में कर दिया ।एक तो ये की उनका 7 महीने का बच्चा जिसे वो घर अपने बूढ़े सास ससुर के पास छोड़ कर आई है और दूसरे वो मरीज़ जो अपने कोरोना रिजल्ट का इंतजार कर रहे है ।
उन्होंने बताया कि वे बॉर्डर पर खड़ी थी फोन कि घंटी लगातार बाज रही थी ।हॉस्पिटल का स्टाफ लगातार कॉल और मैसेज कर रहा था क्योंकि उस दिन अस्पताल में स्टाफ की भी कमी थी ।
उन्होंने बताया कि मैं उस वक्त बहुत तनाव में हो गई थी लेकिन समस्या ये है कि मेरा परिवार दिल्ली में और मै फरीदाबाद के लैब में काम करती हूं ।तो क्या अब मै समय से घर और अस्पताल पहुंच सकूंगी ।
उन्होंने बताया कि उनके ससुर हर्ट के मरीज़ है और उनकी सास पूरा घर संभालती है ।जबकि उनका बच्चा केवल 7 महीने का है ।जबकि बॉर्डर सील होने से उन्हें बहुत दिक्कतें हो रही है ।
कोविड -19 सरकारी अस्पताल के डीन डॉक्टर ए के पांडे का कहना है कि हमारे यहां से कई कर्मचारी फरीदाबाद से बाहर रहते है । ऐसे में उन्हें यदि बॉर्डर पर रोका जाएगा तो कोरोना की जांच का कार्य काफी प्रभावित हो सकता है। लिहाजा इस समस्या पर सोचने की जरूरत है क्योंकि स्टाफ की परेशानियां लगातार बढ़ती जा रही थी ।
हरियाणा सरकार ने यह कहते हुए सभी बॉर्डर को सील कर दिया गया कि दिल्ली से फरीदाबाद में कोरोना का संक्रमण अधिक फैल रहा है । हालांकि सरकार की ओर से इस मामले पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।