हर बच्चे का सपना होता है सरकारी कॉलेज में एडमिशन लेना। स्कूल ख़तम होने से पहले ही सरकारी कॉलेजो में एडमिशन की तैयारी शुरू हो जाती है।
खासकर जो बच्चे डॉक्टर एवं इंजीनियर बनना चाहते है वो कम फीस और अच्छे भविष्य के लिए सरकारी कॉलेजो दाखिला लेने का सपना देखते है और जी जान से सरकारी कॉलेजो में एडमिशन की तैयारी करते है ,क्युकी प्राइवेट कॉलेजो में डॉक्टरी या इंजीनियरिंग की पढ़ाई करना के उन बच्चो के बीएस बात नहीं है जो पहले से ही बहुत गरीब है।
कम फीस की वजह से बच्चे दिन रात मेहनत करके सरकारी कॉलेजो में दाखिला लेते है लेकिन हैरानी की बात तो तब होगी जब इन सरकारी कॉलेजो की फीस परिवाइट कॉलेजो से भी ज्यादा हो जाएगी।
सरकार ने प्रदेश के सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की फीस बढ़ाने का मसौदा तैयार कर लिया है। इसके तहत फीस 53 हजार रुपये सालाना से 10 लाख रुपये की जा सकती है। यह फीस निजी मेडिकल कॉलेजों के लगभग बराबर होगी।
वर्तमान में पंजाब में 1.5 लाख, हिमाचल में 60 हजार और चंडीगढ़ में 25 हजार रुपये सालाना फीस है। उधर, सरकार के इस फैसले से चिकित्सा शिक्षा मंत्री अनिल विज नाखुश हैं। हाल ही में नीट का रिजल्ट निकला है, जिसके लिए हरियाणा में अभी काउंसलिंग शुरू नहीं हुई है। तर्क है कि दाखिला लेने वाले विद्यार्थियों को लोन दिलवाने में सरकार मदद करेगी। बाद में लोन की किस्तें भावी चिकित्सक अपने वेतन से दे सकेंगे।
सूत्रों के मुताबिक, पहले यह मसौदा तैयार किया जा रहा था कि दाखिला लेने वाले विद्यार्थियों से दो साल हरियाणा में नौकरी करने का बांड भरवाया जाए। इस संदर्भ में अधिकारियाें की बैठक में चर्चा भी हुई थी, लेकिन यह मामला सिरे नहीं चढ़ सका।
सरकार यह चाह रही थी कि वर्तमान में जो विद्यार्थी एमबीबीएस कर रहे हैं, उनके ऊपर भी बांड वाली यह शर्त लागू की जाए, लेकिन ऐसा संभव नहीं था। इस मामले में कानूनी राय भी ली गई लेकिन फिलहाल किसी नतीजे पर नहीं पहुंचा जा सका है।
बढ़ी हुई फीस इसी वर्ष से लागू होगी तो काउंसलिंग के समय सरकार को इस संबंध में अधिसूचना जारी करनी होगी। इसमें यह बताना होगा कि फीस बढ़ाकर 53 हजार से 10 लाख रुपये कर दी गई है। ऐसे में देश भर से नीट उत्तीर्ण विद्यार्थियों की काउंसलिंग पर नजर है।
हरियाणा के निजी मेडिकल कॉलेजों में वर्तमान में 15 से 18 लाख रुपये तक सालाना फीस है, जबकि सभी सरकारी मेेडिकल कॉलेजों में 53 हजार रुपये सालाना है।
इसके साथ ही एक अच्छी खबर भी है विद्यार्थियों के लिए ,फीस बढ़ाने के साथ साथ सरकार बच्चो को लोन भी देगी। इतना मिलेगा लोन होगी फीस लोन
फीस लोन
पहल साल -80 ,000 920000
दूसरे साल – 88000 912000
तीसरा साल -96800 903200
चौथा साल -106480 893520
कुल -. 371280 3628720
अग्रोहा मेडिकल कॉलेज में फीस दो लाख है, क्योंकि यहां पर सरकारी मेडिकल कॉलेजों की अपेक्षा सुविधाएं भी अधिक हैं।और अब समय ऐसा आ गया है की सरकारी कॉलेजो की फीस भी अब प्रइवेट कॉलेज जितनी हो गयी है। अब ऐसे में सवाल उठता है की बच्चे जाये तो कहा जाये ???