उपायुक्त यशपाल ने कहा कि कोरोना आपदा के दौरान बच्चों को बेहतर शिक्षा देना शिक्षा विभाग की बड़ी जिम्मेदारी है। ऐसे में शिक्षा विभाग वह सभी जरूरी कदम उठाए जो बच्चों को ऑनलाईन शिक्षा देने के लिए लाभदायक साबित हों। उपायुक्त यशपाल गुरुवार को शिक्षा विभाग की समीक्षा मीटिंग के दौरान निर्देश दे रहे थे।
उपायुक्त ने कहा कि कोरोना की इस आपदा में हम बच्चों को स्कूल नहीं भेज पा रहे हैं। प्रत्येक अभिभावक व प्रशासन व बच्चों के स्वास्थ्य को लेकर चिंतित है। ऐसे दौर में हमें बच्चों के स्वास्थ्य का भी ध्यान रखना है और उन्हें पढ़ाई भी करवानी है। शिक्षा विभाग ने पूरे कोरोना काल में यह कार्य बेहतरीन ढंग से पूरा भी किया है। उन्होंने कहा कि हमें बच्चों को ऑनलाईन शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करना है और सीलेबस को बेहतर ढंग से पूरा करवाना है।
शिक्षा विभाग के अधिकारियों को निर्देश देते हुए उपायुक्त यशपाल ने कहा कि बच्चों को अधिक से अधिक उम्मीद एप अपलोड करने के लिए कहें ताकि वहां से वह अपनी कक्षा के अनुसार लाभ ले सकें। इसके साथ ही 11 दिसंबर को होने वाले हरियाणा के स्कूलों के अध्यापकों के बीच ऑनलाईन वार्तालाप में भी भाग लेने के लिए आवाहन किया। उन्होंने कहा कि बल्लभगढ़ ब्लॉक को क्विक रेटिंग डाटा बढ़ाने के लिए निर्देश दिए।
उन्होंने सभी शिक्षा विभाग के सभी एबीआरसी से कहा कि वह अपनी-अपनी सीआरसी से स्टार टीचर का नाम लेकर हर सप्ताह दें ताकि उनको प्रोत्साहित किया जा सके। उन्होंने कहा कि जो शिक्षा मित्र अपने बच्चों के साथ अच्छा काम कर रहे हैं ऐसे पांच शिक्षा मित्रों के नाम भी अपनी सीआरसी को दें ताकि उन्हें भी सम्मानित कर प्रेरित किया जा सके।
उपायुक्त ने मीटिंग में प्रत्येक ब्लॉक से दो-दो सबसे कमजोर व बेहतर प्रदर्शन करने वाले स्कूलों के नाम भी मांगे ताकि बेहतर कार्य करने वालों को प्रोत्साहित कर सकें और कमजोर प्रदर्शन करने वालों से कारण पूछा जा सके। उन्होंने निर्देश दिए कि सभी एबीआरसी अगली बैठक में अपना साप्ताहिक डाटा प्रस्तुत भी करेंगे। मीटिंग में एडीएम बल्लभगढ़ अपराजिता, एसडीएम बडख़ल पंकज सेतिया, सीएमजीजीए रूपाला सक्सेना, डीईओ, डीईईओ, सभी बीईओ, एबीआरसी व बीआरपी भी मौजूद थे।