फरीदाबाद : महामारी के चलते सैकड़ों लोगों को अपनी नौकरी से हाथ धोना पड़ा। जिससे उनके घरों को गुजर-बसर करना काफी मुश्किल हो गया। इसको लेकर सेक्टर 15 ए की रहने वाली आस्था भारद्वाज ने सैकड़ों को महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाया। महामारी के दौरान महिलाओं को मास्क बनाने सीखाया और उनको मेहनताना दिया जाता है।
आस्था भारद्वाज ने बताया कि महामारी के दौरान आम आदमी को कई परेशानियों से गुजरना पड़ा। जिसकी वजह से सैकड़ों लोगों को नौकरी से हाथ थोना पड़ा। नौकरी जाने की वजह से कई लोग अपने गांव भी वापिस चले गए गई।
तभी उनको लगा कि वह इस महामारी के दौरान उन लोगों की किसी प्रकार से कोई सेवा कर सकें तो उनको काफी मदद हो जाएगाी। जिसके बाद उन्होनंे सोचा कि इस महामारी के दौरान क्यों न महिलाओं का आत्मनिर्भर बनाया जाए। महामारी से बचने के लिए लोगों को मास्क लगाना सबसे जरूरी है। इसको लेकर उन्होंने महिलाओं को मास्क बनाना सीखाया।
कंपनी मालिक ने नहीं लिया किराया
आस्था ने बताया कि 22 मार्च को लाॅकडाउन लगने के बाद शहर की कई कंपनियों को बंद कर दिया गया। ऐसी ही एक कंपनी ग्रेटर फरीदाबाद में बंद पड़ी थी। उक्त कंपनी को किराए पर लिया गया। लेकिन उक्त कंपनी के मालिक में उनसे किराया नहीं लिया। उसके बाद उक्त कंपनी में सिलाई मशीनों को लगाया गया।
जिसके बाद मास्क बाने के लिए महिलाओं को कपड़ा दिया गया। जिसके बाद उन महिलाओं से थ्री लेयर मास्क बनाना शुरू किया ।जिसके बाद उन महिलाओं को रोजगार मिला और वह अपने घर को चला सकी। जो भी मास्क महिलाओं द्वारा बनाए गए वह एनजीओ को दिए गए। जिन्होंने महामारी के दौरान लोगों को वित्रित किए।
इसके अलावा दुकानों पर भी मास्क को बेचा गया। अब उनके साथ करीब 250 महिलाएं काम कर रही है। इसके अलावा उनके द्वारा लॉकडाउन के दौरान जरूरतमंद लोगों को जरूरत का सभी सामान दिया।