साइबर ठगों ने अब महामारी की वैक्सीन के नाम पर लोगों को ठगने का प्रयास शुरू कर दिया है। आरोपी इन दिनों लोगों को केंद्रीय कोविद कार्यालय का अधिकारी बनकर फोन कर रहे हैं। आरोपी कहते हैं कि आपका नाम वैक्सीन लगाने के लिए चयनित हुआ है।
इसके लिए पंजीकरण करना होगा। पंजीकरण के नाम पर ठग लोगों के खाते व अन्य निजी जानकारी हासिल करने का प्रयास कर रहे हैं। साइबर थाने में इस तरह की छह शिकायत मिली हैं।
साइबर थाना प्रभारी बसंत कुमार ने बताया कि लोगों की शिकायतें मिल रही हैं कि उनसे वैक्सीन बुक करने के नाम पर पंजीकरण कराने के लिए जानकारी मांगी जा रही है।
लोग काफी सतर्क हो चुके हैं। पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। ऑनलाइन ठगी करने वाले आरोपी यह दावा कर रहे हैं कि चीन ने वैक्सीन बना ली है, लेकिन दूसरे देशों को नहीं बेच रहा है और चीन की वुहान वायरोलॉजी के वैज्ञानिक भी इस वैक्सीन से जुड़ी कोई जानकारी शेयर नहीं कर रहे, लेकिन हम कई देशों में यह वैक्सीन बेच चुके हैं।
महामारी की दवा भी डार्कवेब पर बेची जा रही है। दावा है चीन ने वैक्सीन बना ली है। ठग ऑर्डर करने वाले से निजी जानकारी जैसे नाम, जेंडर, उम्र, ईमेल एड्रेस, कोविद टेस्ट के रिजल्ट जैसी जानकारियां लेकर ठगी कर रहे हैं।
एनआईटी-3 निवासी गोविंद सिंह ने शिकायत दी कि उनके पास एक फोन आया। फोन करने वाले ने वैक्सीन लगवाने की बात कही और उनके खाते से संबंधित जानकारी ले ली। इस दौरान उन्हें उसके बात करने के तरीके से कुछ शक हुआ, तो फोन काट दिया। उसके बाद भी उनके पास लगातार फोन आ रहा है।
ओल्ड फरीदाबाद निवासी जितेंद्र शर्मा ने शिकायत में बताया कि उनकी मां संक्रमित थीं। उनके पास एक अनजान नंबर से फोन आया। उसकी भाषा शैली थोड़ी अजीब थी। उसने वैक्सीन लगवाने की बात कही और आश्वासन दिया कि डॉक्टर से पहले उनको वैक्सीन लग जाएगी। फिर फोन करने वाला खाते से संबंधित जानकारी मांगने लगा तो वह समझ गए कि यह ठग है। उन्होंने उसका नंबर ब्लॉक कर दिया, लेकिन अभी भी अलग-अलग नंबरों से वह फोन कर रहा है।
साइबर थाना प्रभारी बसंत कुमार का कहना है कि साइबर ठगों का मुख्य लक्ष्य खाते, एटीएम कार्ड नंबर व ओटीपी की जानकारी हासिल करना होता है। बैंक में किसी अनजान व्यक्ति से फार्म न भरवाएं। क्रेडिट या डेबिट कार्ड का नंबर या फोटो किसी को भी न दें। किसी भी तरह की समस्या होने पर तुरंत अपने खाते को बंद कराएं और पुलिस से संपर्क करें।
डॉ. रणदीप, मुख्य चिकित्सा अधिकारी के अनुसार जल्दी ही वैक्सीनेशन की तिथि घोषित हो सकती है। वैक्सीन को इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी मिली है। पहले तीन चरण के लिए होने वाले टीकाकरण के लिए सूची विभाग आधिकारिक आंकड़ों के आधार पर तैयार करते हैं। फोन पर मिली जानकारी के आधार पर नहीं। ऐसे में किसी प्रकार के धोखाधड़ी से बचें।