अब सुधरेगी गौशालाओं की स्थिति, गौ सेवा आयोग दे रहा है गौशालाओं को ये बड़ी सुविधाएं

0
360

हरियाणा में गौशालाओं की स्थिति को बेहतर करने के लिए सरकार द्वारा हर गौशाला में सौर ऊर्जा व गोबर गैस प्लांट को स्थापित किया जाएगा। इस बात की जानकारी हरियाणा गौ सेवा आयोग के चेयरमैन श्रवण कुमार गर्ग ने पानीपत लघु सचिवालय में हुई एक बैठक के दौरान दी।

उन्होंने आगे जानकारी देते हुए बताया कि हरियाणा में कोई भी पंचायत गौचारण की जगह पर अगर गौशाला बनवाना चाहती है तो उसे हरियाणा गौ सेवा आयोग को पंचायत का प्रस्ताव पारित कर और कमेटी बनाकर देनी होगी, जिस पर आयोग आगे की कार्यवाही करेगा। यह प्रस्ताव जिला उपायुक्त को भी दिया जा सकता है। यही नहीं, हरियाणा की सभी गौशालाओं में सौर ऊर्जा प्लांट लगाए जाएंगे। इसके लिए आयोग ने तैयार की ली है। साथ-ही-साथ गोबर गैस प्लांट भी लगाए जाएंगे।

अब सुधरेगी गौशालाओं की स्थिति, गौ सेवा आयोग दे रहा है गौशालाओं को ये बड़ी सुविधाएं

उन्होंने कहा कि हरियाणा गौ सेवा आयोग प्रशासन के साथ तालमेल कर काम करेगा ताकि गऊशालाओं में चारे-पानी इत्यादि की मूलभूत सुविधाओं के साथ पर्याप्त व्यवस्था बनाई जा सके। सामाजिक संगठनों का भी इसमें विशेष सहयोग लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जिला में नई गौशालाएं स्थापित करने के लिए पायलट प्रोजेक्ट के तहत प्रत्येक खंड में से 10 गौशालाएं बनाने के प्रस्ताव पंचायतों के माध्यम से लिए जाएंगे।

उन्होंने नस्ल सुधार को भी लेकर पशुपालन विभाग के उप निदेशक संजय आंतिल को कहा कि देसी गायों की नस्ल को बढ़ावा देने के लिए विशेष अभियान चलाए और पशुपालकों को देसी नस्ल के टीेके जो कि सरकार द्वारा मात्र 200 रूपये में उपलब्ध करवाया जा रहा है, जबकि इसकी कीमत 1200 रूपये है, इसकी जानकारी दें।

अब सुधरेगी गौशालाओं की स्थिति, गौ सेवा आयोग दे रहा है गौशालाओं को ये बड़ी सुविधाएं

वही फरीदाबाद जिले में भी गौवंशों और गौशालाओं की स्थिति कुछ ठीक नही है। जिले में लगभग हर जगह पर गौवंशों को कूड़ा खाते हुए तथा दर- बदर घूमते हुए देखा जा सकता है।

जिले में लगभग 10 गौशालाएं है जिनमे से चार गौशाला प्रशासन के अंतर्गत आती है, जिसमे मवई गौशाला, श्रीगोपाल गौशाला, ऊंचा गांव आदि शामिल है। जिले भर में आवारा गौवंश और नंदी इधर- उधर घूमते रहते है। कभी- कभी ये गौवंश दुर्घटना का कारण बनते है।

ऐसे में देखना होगा कि गौ सेवा आयोग द्वारा उठाए जा रहे इस कदम से गौवंश और गौशालाओं की स्थिति में कितना सुधार आ पाता है।