नई खरीदना का सपना लिए काफी लोग इस समय घूम रहे हैं। इस सपने को सच करना उनके लिए कभी भी संभव हो सकता है। लेकिन आपको बता दें, आने वाले दिनों में अगर आप नई गाड़ी खरीदते हैं तो पेमेंट को लेकर आपको नए नियम का सामना करना पड़ सकता है। नई गाड़ी खरीदने वालों को गाड़ी की लागत और बीमा प्रीमियम का पेमेंट अलग-अलग चेक के जरिये करना पड़ सकता है।
गाड़ी बिक्री का रिकॉर्ड भी ठीक – ठाक चल रहा है। काफी वाहन रोज़ाना बिक रहे हैं। अब आईआरडीएआई अगर एक समिति की मोटर बीमा सेवा प्रदाता के गाइडलाइंस की समीक्षा की सिफारिश को स्वीकार कर लेता है, तो नई व्यवस्था लागू हो सकती है।
अभी तक नया वाहन खरीदने पर वाहन की कॉस्ट और बीमा प्रीमियम के भुगतान के लिए एक चेक देना होता था। आईआरडीएआई ने प्रक्रिया को तर्कसंगत करने की मंशा से 2017 में मोटर बीमा सेवा प्रदाता गाइडलाइंस जारी किए थे। साथ ही इसका मकसद वाहन डीलरों द्वारा बेचे जाने वाले वाहन बीमा को बीमा कानून-1938 के प्रावधानों के तहत लाना था।
काफी वाहनों पर इस समय महीनों की वेटिंग है। यह वेटिंग सकारत्मक है। आपको बता दें, 2019 में एमआईएसपी गाइडलाइंस की समीक्षा के लिए एक समिति गठित की थी। समिति ने एमआईएसपी (MISP) के जरिये मोटर बीमा कारोबार के व्यवस्थित तरीके से परिचालन के लिए अपनी रिपोर्ट में कई सिफारिशें की हैं।
नई वाहनों को खरीदने का जो मन बना रहे हैं उनके लिए यह जानकारी काफी महत्वूर्ण है। नए नियमों के बारे में जानकारी अभी काफी कम संख्या में लोगों को है।