दिल्ली -हरियाणा बॉर्डर को लेकर सुप्रीम कोर्ट का ऐलान , NCR को लेकर बनानी होगी नीति

0
311

कोरोना के कारण लोगो को अनेको प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ रह हैं 68 दिन तक चले लॉक डॉउन के बाद अनलॉक वन को लागू किया गया और लोगो काफी हद तक छूट मिल गई इसी मिली छूट के अनुसार लोगो को एक और दिक्कत का सामना करना पड़ा , समस्या थी दिल्ली हरियाणा बॉर्डर को सील करने के आदेश ।

हरियाणा के स्वास्थ्य औऱ गृह मंत्री ने हरियाणा बॉर्डर को सील करने के आदेश दिए फरीदाबाद वासियो को सीमा लाँघने पर रोग लगा दी ताकि दिल्ली जहा पर कोरोना मरीजो की संख्या अधिक है और वही हरियाणा में भी दिनों दिन केसो की संख्या के चलते यह फैसले लिए गया

दिल्ली -हरियाणा बॉर्डर को लेकर सुप्रीम कोर्ट का ऐलान , NCR को लेकर बनानी होगी नीति

वही दिल्ली सरकार भी सचेत नजर आई और दिल्ली के सीएम ने अनलॉक वन लागू होने के बाद 7 दिनों के लिए आवाजाही पर रोक लगा दी यह सब होता देख हरियाणा सरकार कहा पीछे रहती तो हरियाणा सरकार ने भी मंगलवार को हरियाणा के सभी बॉर्डर को सील कर दिया। इन सबमें आमजन की असमंजस को और बढ़ा दिया ।

संकट के कारण दिल्ली-एनसीआर की सीमाएं सील हैं और लोगों को आने-जाने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है. लोगों की दिक्कत को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की गई थी. इस पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने बुधवार को NCR क्षेत्र के लिए कॉमन पास बनाने का निर्देश दिया है.

दिल्ली -हरियाणा बॉर्डर को लेकर सुप्रीम कोर्ट का ऐलान , NCR को लेकर बनानी होगी नीति

एनसीआर के लोगों की समस्याओं को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि एनसीआर क्षेत्र में आवाजाही के लिए एक कॉमन पोर्टल बनाया जाए. इसके लिए सभी स्टेक होल्डर मीटिंग करें और एनसीआर क्षेत्र के लिए कॉमन पास जारी करें, जिससे एक ही पास से पूरे एनसीआर में आवाजाही हो सके.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली, हरियाणा और यूपी के एनसीआर क्षेत्र में आवागमन के लिए एक सुसंगत नीति होनी चाहिए. कोर्ट ने कहा कि सभी राज्य इसके लिए एक समान नीति तैयार करें. एक हफ्ते के भीतर ये एक नीति तैयार हो. इसके लिए तीनो राज्यों की बैठक कराई जाए.

सुनवाई के दौरान हरियाणा ने कहा कि हमने सभी प्रतिबंध हटा दिए हैं. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वर्तमान हालात में एक नीति, एक रास्ता और एक पोर्टल बनाया जाए. वहीं केंद्र की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि वो इसके लिए केंद्र सरकार से निर्देश लेंगे ताकि एक समान नीति हो और लोगों को परेशानी ना हो.

हरियाणा और दिल्ली बॉर्डर को खोलने को लेकर हुई इस खींचातानी में लोकल सर्किलस ने एक सर्वे किया जिसमे 20 हजार लोगो से जाना कि क्या दिल्ली -यूपी – हरियाणा के बॉर्डर खोलने चाहिए कि नही वहीं फरीदाबाद और नोएडा के लोगो ने इसे खोलने पर सहमति जताई और गुरुग्राम और गाज़ियाबाद के वासियो ने इस पर रोक लगाने वाले आदेश को सही बताया ।