अपने साथ किसानों को जोड़कर की जैविक खेती, अब उन्हीं की उपज खरीदकर, ऐसे खड़ी की लाखों की कंपनी

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    हमारे देश में अब यह सोच समाप्त होने लगी है कि खेती – बाड़ी बस नुकसान का सौदा है। यह एक पॉजिटिव बात है। आज भी हमारे देश में खेती किसानी के कार्यों में महिला किसानों की भूमिका को कोई खास तवज्जो नहीं दी जाती है, लेकिन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की एक महिला किसान ने अपने इनोवेटिव आइडिया के जरिए अपनी एक अलग पहचान बना ली हैं।

    41 वर्षीया प्रतिभा तिवारी एक सफल महिला किसान और व्यवसायी हैं। प्रतिभा अपने कृषि उत्पादों को भूमिशा आर्गेनिक्स के अंतर्गत बेचती हैं। भोपाल में उन्होंने अपने प्रोडक्ट को बेचने के लिए एक लुकआउट खोला है जिसमें 70 से अधिक ऑर्गनिक उत्पाद हैं।

    अपने साथ किसानों को जोड़कर की जैविक खेती, अब उन्हीं की उपज खरीदकर, ऐसे खड़ी की लाखों की कंपनी

    आपका हौसला सबसे बड़ी तलवार है आपकी। आप अगर कुछ ठान लें तो सबकुछ हासिल कर सकते हैं। प्रतिभा बताती हैं कि उन्होंने 6-7 साल पहले अपने जान पहचान के अन्य किसानों को जैविक खेती के लिए प्रेरित किया था। इस दौरान जैविक खेती करने वाले किसानों ने उन्हें अपनी सबसे बड़ी परेशानी यह बताई थी कि उनके उत्पादन की सही मार्केटिंग नहीं हो पाती है।

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    ज्यादातर लोगों से आपने सुना होगा कि खेती-बाड़ी ज्यादा फायदे का सौदा नहीं है। खेतों से बेहतर है कि पढ़ाई लिखाई करके इंजीनियर, डॉक्टर या फिर सरकारी नौकरी की तैयारी कर लें। लेकिन अब देश का युवा भी अब इन सभी बातों को दरकिनार करने लगा है। प्रतिभा बताती हैं कि भूमिशा आर्गेनिक्स की शुरूआत करने के बाद हमने आसपास के आर्गेनिक खेती करने वाले किसानों को अपने ब्रांड के साथ जोड़ा।

    अपने साथ किसानों को जोड़कर की जैविक खेती, अब उन्हीं की उपज खरीदकर, ऐसे खड़ी की लाखों की कंपनी

    खेती में मोटा मुनाफा किसान कमाने लगे हैं। प्रतिभा के पास भी खुद की जमीन है और वे खुद गेहूं, मुंग, चना समेत अन्य फसलों की जैविक खेती करती हैं. उन्होंने शुरुआत में 3 किसानों को अपने साथ जोड़कर अपने इस ब्रांड की शुरुआत की थी लेकिन आज उनके साथ बड़ी संख्या में किसान जुड़े।