कम पैसों से शुरू किया कारोबार एक दिन करोड़ों का ज़रूर बन जाता है अगर कारोबारी में एकाग्रता है। इस शख्स ने मात्र 10 हजार रुपए से अपना बिजनेस शुरू किया था, मगर एक दिन ऐसा भी आया, जब वह एशिया के सबसे अमीर बिजनेसमैन मुकेश अंबानी को पछाडक़र देश के नंबर वन अमीर बन गए थे। पंरतु यह मंजिल उन्होंने ऐसे ही नहीं पाई थी, इसके लिए उन्होंने कड़ा संघर्ष और अथक परिश्रम किया था।
उनके इस कारनामे के चर्चे दुनिया में थे। उनकी सफलता की कहानी हर किसी की ज़ुबान पर थी। यह जादुई कहानी है देश की सबसे बड़ी दवा कंपनी सन फार्मा के संस्थापक दलीप सांघवी की। जिन्होंने साल 2015 में मुकेश अंबानी के सिर से सबसे अमीर बिजनेसमैन होने का ताज छीन लिया था।
कुछ बड़ा करने के लिए आपके हौसले भी बड़े होने चाहिए। दिलीप के हौसले भी काफी बुलंद थे। मुकेश अंबानी से अमीर बनने का सफर उन्होंने ऐसे ही तय नहीं किया। इसके लिए दलीप सांधवी ने कड़ी तपस्या से खुद को इस मुकाम तक पहुंचाया है। हालांकि एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया था कि जैसे ही साल 2015 में वह इस सक्सेस तक पहुंचे तो वह काफी परेशान भी हो गए थे। इस मंजिल को छूने से पहले तक दलीप सांधवी को बहुत ही कम लोग जानते थे।
भारत में 130 करोड़ से अधिक लोग रहते हैं। उनमें सबसे अमीर आदमी बने थे दिलीप। उन्होंने एक बार बताया था कि भले ही तब लोग सन फार्मा के बारे में जानते हों,मगर उनकी असल पहचान तब बनीं, जब वह भारत के सबसे अमीर शख्स बनें। इसके बाद वह लोगों की निगाहों में आ गए। हर कोई उनके बारे में जानने के लिए उत्सुक रहने लगा। उनमें लोगों की दिलचस्पी इस कदर बढ़ गई कि वह खुद को परेशान महसूस करने लगे थे।
दिलीप ने भी काफी संघर्ष किया है। आज वह जिस मुकाम पर हैं अपनी कड़ी मेहनत के दम पर हैं। सन फार्मा कंपनी की स्थापना कर देश के सबसे अमीर आदमी होने का गौरव हासिल करने वाले दलीप सांधवी मूल रूप से गुजरात में जन्मे और कोलकत्ता में अपनी पढ़ाई हासिल की। इस समय उनकी सपंत्ति की बात करें तो वह 10.9 बिलियन डॉलर के मालिक हैं। जिसके बाद उन्हें देश के सबसे अमीर दस लोगों में शामिल किया गया है।