Haryana Roadways: लॉकडाउन में सफर न कर पाने वाले बस पासधारकों को मिली बड़ी खुशखबरी, पढ़े पूरी खबर

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महामारी के कारण वह पासधारक जो साल 2020 में रोडवेज की बसों में सफर नहीं कर पाए थे, अब रोडवेज द्वारा उन सभी के पैसे वापस किए जायेंगे। हालांकि डीपो में अभी तक सामान्य पास धारकों के पैसे लौटाने को लेकर दिशा निर्देश दिए गए हैं। लेकिन विद्यार्थियों के पैसे लौटाने को लेकर अभी तक कोई गाइडलाइंस नहीं मिली है। परिवहन विभाग के इस निर्णय से प्रदेश भर में लगभग दस हजार पासधारकों को फायदा होगा। वहीं जींद में डीपो की ओर से लगभग 200 पास धारकों को करीब दो लाख रुपए की राशि वापिस की जाएगी।

बता दें कि 21 मार्च 2020 से लेकर 31 मई 2020 तक रोडवेज की बसें पूरी तरह से बंद थी जून आते आते बसों के पहिए सक्रिय हो गए। उस दौरान रोडवेज बसों को पूरी तरह से आनरूट होने में तीन महीने का समय लग गया था।

Haryana Roadways: लॉकडाउन में सफर न कर पाने वाले बस पासधारकों को मिली बड़ी खुशखबरी, पढ़े पूरी खबर

लेकिन स्कूल, कालेज समेत अन्य शिक्षण संस्थान पूर्णतः बंद थे, इस कारण विद्यार्थी रोडवेज की बसों में सफर नहीं कर पाए थे। जबकि सामान्य पासधारक बसों में सफर करते रहे। इसलिए रोडवेज द्वारा केवल दो महीने के पास के पैसे ही रिफंड किए जाएंगे।

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जींद डिपो प्रबंधन के अनुसार अगर प्रत्येक पासधारक के पास की राशि आठ हजार रुपये तक की है तो इसे डिपो स्तर पर ही वापस किया जाएगा। लेकिन अगर पास की राशि आठ हजार से ज्यादा है तो उसकी एप्लिकेशन मुख्यालय में भेजी जाएगी। वहीं से पास की राशि रिफंड हो पाएगी। जींद डिपो में करीब 200 पासधारक हैं, जो इस समय सामान्य कैटेगरी का पास बनवाए हुए हैं, उनके करीब दो लाख रुपये वापस किए जाएंगे।

स्कूल, कालेजों और शिक्षण संस्थानों में तीन महीने, छः महीने और वार्षिक पास जारी किए जाते हैं वहीं दूसरी ओर सामानय कैटेगरी का पास हर महीने का बनाया जाता है। इसके लिए किसी स्कूल-कालेज या दूसरे शिक्षण संस्थान से लिखित पत्र की जरूरत नहीं होगी, इसे कोई भी आम यात्री बनवा सकता है।

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एक महीने में अप–डाउन की 60 टिकटें होती है लेकिन पास बनवाने पर उसे रियायत मिल जाती है और उसे 40 टिकटों के पैसे रोडवेज के पास जमा करवाने पड़ते हैं। इससे यात्री का पास बनाकर दे दिया जाता है और उसे 20 टिकटों की छूट मिल जाती है। फिलहाल केवल इन्हीं पासधारकों के पैसे रिफंड किए जाएंगे।

जींद डिपो के ट्रैफिक मैनेजर विरेंद्र सिंह ने कहा कि जिस भी पास धारक का पास बना हुआ है, उसे अपने पास की फोटो कापी और एक एप्लिकेशन लिखकर डिपो के लिपिक कार्यालय में जमा करवानी होगी। पास होल्डर के कागजों का मिलान कर उसे पैसे वापस कर दिए जाएंगे।