HomeGovernmentपानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब,...

पानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब, पुराने तालाबों को मिलेगा नवजीवन

Published on

तीन व पांच तालाब विधि के अनुसार तालाब बनाने के लिए खोदाई होती है। गांव का गंदा पानी सबसे पहले वाले तालाब में जाता है। जब यह भर जाता है, तो पाइप से दूसरे और फिर तीसरे, चौथे और पांचवे तालाब में पानी जाता है।

पानी के साथ आया कचरा सबसे पहले वाले तालाब में रह जाता है और बाकी दूसरे में नीचे जम जाता है। तीसरे या पांचवे तालाब तक साफ पानी ही पहुंचता है। आखिरी तालाब में पहुंचे पानी का प्रयोग सिचाई के लिए किया जा सकता है।

पानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब, पुराने तालाबों को मिलेगा नवजीवन

जल संरक्षण को लेकर शासन-प्रशासन अब गांव पर अधिक ध्यान दे रहा है। पुराने तालाब को जीवंत करने और नए की खोदाई करना शुरू कर दिया है। प्रथम चरण में 31 गांव में काम चल रहा है। यहां तीन व पांच तालाब विधि अपनाई जा रही है। जबकि दूसरे चरण में 22 गांव में तालाब की सुध ली जाएगी।

पानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब, पुराने तालाबों को मिलेगा नवजीवन

इसके लिए पंचायती राज विभाग को अनुमति मिल चुकी है। इस योजना से एक ओर गांव में पानी निकासी की समस्या खत्म होगी तो दूसरी ओर भूजल स्तर पर भी असर पड़ेगा। तालाब के पानी का सदुपयोग कर फसलों की सिचाई की जा सके। इस विधि से तैयार हो रहे तालाब

पानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब, पुराने तालाबों को मिलेगा नवजीवन

जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं नगराधीश पुलकित मलहोत्रा ने बताया कि स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के तहत गांव के तालाबों को फिर से जीवंत किया जा रहा है। इसके लिए कुल 53 गांव को चिन्हित किया गया है।

पानी का संरक्षण करने के लिए 31 गांव में तैयार होगा तालाब, पुराने तालाबों को मिलेगा नवजीवन

यमुना नदी किनारे गांव मंझावली, अरूआ, फज्जुपुर खादर, पियाला, फरीदपुर, शाहबाद एवं बदरपुर सैद के तालाबों को तीन व पांच तालाब विधि के रूप में बदला जा चुका है। गांव फज्जुपुर खादर में नए तालाब का निर्माण किया गया है।

Latest articles

मैं किसी बेटी का अपमान बर्दाश्त नहीं कर सकती – रेणु भाटिया (हरियाणा महिला आयोग की Chairperson)

मैं किसी बेटी का अपमान बर्दाश्त नहीं कर सकती। इसके लिए मैं कुछ भी...

नृत्य मेरे लिए पूजा के योग्य है: कशीना

एक शिक्षक के रूप में होने और MRIS 14( मानव रचना इंटरनेशनल स्कूल सेक्टर...

महारानी की प्राण प्रतिष्ठा दिवस पर रक्तदान कर बनें पुण्य के भागी : भारत अरोड़ा

श्री महारानी वैष्णव देवी मंदिर संस्थान द्वारा महारानी की प्राण प्रतिष्ठा दिवस के...

More like this

मैं किसी बेटी का अपमान बर्दाश्त नहीं कर सकती – रेणु भाटिया (हरियाणा महिला आयोग की Chairperson)

मैं किसी बेटी का अपमान बर्दाश्त नहीं कर सकती। इसके लिए मैं कुछ भी...

नृत्य मेरे लिए पूजा के योग्य है: कशीना

एक शिक्षक के रूप में होने और MRIS 14( मानव रचना इंटरनेशनल स्कूल सेक्टर...