किसान आंदोलन को मजबूत करने की कवायद शुरू, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में किया जा रहा है यह बड़ा आयोजन

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संयुक्त किसान मोर्चा किसान आंदोलन को मजबूत करने की फिराक में है। इसके लिए किसान मिशन उत्तर प्रदेश उत्तराखंड की शुरुआत कर रहे हैं। इस मिशन की शुरुआत राष्ट्रीय महापंचायत से की जाएगी। यूपी में उत्तराखंड में 2022 में विधानसभा चुनावों को देखते हुए संयुक्त किसान मोर्चा ने यह फैसला लिया है।

संयुक्त किसान मोर्चा ने निशा यूपी में उत्तराखंड को लेकर पूरी रणनीति तैयार कर ली है जिसके तहत इन दोनों राज्यों में आंदोलन चलाया जाएगा। आंदोलन के द्वारा दोनों राज्यों में बताया जाएगा कि सरकार के फैसलों के कारण किसानों की किस तरह से हालत खराब है। उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर में 5 सितंबर को महापंचायत होगी और उसमें देश भर के किसान संगठन नेता शामिल होंगे।

किसान आंदोलन को मजबूत करने की कवायद शुरू, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में किया जा रहा है यह बड़ा आयोजन

इस आंदोलन में भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत व युद्धवीर सिंह अग्रणी भूमिका में रहेंगे तो पंजाब हरियाणा के किसान संगठन भी साथ खड़े दिखाई देंगे।


आपको बता देगी संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने बंगाल में चुनाव के दौरान वहां जाकर भाजपा का विरोध किया था। इसके बाद से से किसान मोर्चा को लगने लगा है कि चुनाव वाले राज्यों में भाजपा का प्रयोग करके बातचीत का रास्ता खोला जा सकता है इसलिए उत्तर प्रदेश उत्तराखंड में अभियान शुरू करने का फैसला लिया गया है।

किसान आंदोलन को मजबूत करने की कवायद शुरू, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में किया जा रहा है यह बड़ा आयोजन

संयुक्त किसान मोर्चा ने यह साफ कर दिया है कि यह आंदोलन बंगाल के मुकाबले काफी बड़ा होगा। उत्तर प्रदेश में उत्तराखंड में इस आंदोलन को पूरी रणनीति के साथ चलाया जाएगा।


संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्य युद्धवीर सिंह ने बताया कि मिशन यूपी पर उत्तराखंड को चलाने के लिए पूरी रणनीति तैयार हो चुकी है। अभी प्रथम चरण की रणनीति बनाई गई है और किसानों की मांग पूरी नहीं होती है तो यह मिशन यूपी व उत्तराखंड विधानसभा चुनाव तक चलता रहेगा।

इसके लिए समय-समय पर रणनीति भी तय होती रहेगी। कार को हालातों को देखते हुए किसानों की मांगों को मान लेना चाहिए।