कोविड-19 का टेस्ट कराने आए मरीजों को बीके अस्पताल से लौटाया, मरीज लौटा या कोरोना, सोचिए जरा

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फरीदाबाद का सबसे बड़ा सिविल अस्पताल इन दिनों कोरोना वायरस का टेस्ट कराने आए मरीजों से अटा हुआ देखा जा सकता है। जहां शनिवार को यह भीड़ ना के बराबर दिखाई देती थी। आज इसी अस्पताल में मरीजों की कतार दूर दूर तक देखी जा सकती हैं।

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वहीं अस्पताल प्रबन्धन का आलम यह है कि उनके पास सीमित साधन है जिसके माध्यम से मरीजों का टेस्ट किया जा रहा है और यह सीमित साधन खत्म होने पर कोरोना का टेस्ट कराने आए मरीजों को वापस लौट जाने को कहा जा रहा है।

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कोरोना वायरस का संकर कितना खतरनाक है इसके बारे में बच्चा बच्चा जान गया है। इतना ही नहीं इस संक्रमण के कारण वह लोग भी जागरूक हो गए हैं जिनके पास शिक्षा का अभाव है। इसलिए जरा सा बुखार या खासी होने पर लोग सिविल अस्पताल का रुख कर अपनी जागरूकता का परिचय दे रहे हैं।

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आपको बताते चलें कि सिविल अस्पताल में एक ही दिन में करीबन 300-400 मरीज का आना जाना लगा रहता है। जिनमे अधिकांश कोरोना वायरस का टेस्ट कराने पहुंच रहे है। लेकिन इधर आज अस्पताल में अलग ही दृश्य देखने को मिला।

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जहां मरीजों में जागरूकता देखने को मिली तो वहीं दूसरी ओर अस्पताल प्रबंधन ने 150 मरीज की जांच के बाद अन्य मरीजों को बिना किसी कारण बताए लौट जाने को कहा। सिर्फ मरीजों को पंक्ति पूर्वक लगाने वाले सिक्योरटी गार्ड ने यह बताया कि आज केवल 150 लोगों का टेस्ट होगा। इसके बाद किसी का फॉर्म नहीं भरा जाएगा

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जरा सोचिए, कि वह लोग जो कोरोना वायरस के टेस्ट के लिए आए थे जिन्हें वापस लौटा दिया गया। यदि उनमें से किसी भी व्यक्ति को कोरोना वायरस का संक्रमण हुआ और उसके कारण यह संक्रमण बढ़ता चला गया तो इसका जिम्मा किसके सर होगा।