वायुसेना का प्लेन क्रैश हुआ जंगल में घास फूस खाकर किया गुजरा, जानें आखिर कैसे पायलट की बची जान

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    देश की सेवा में अपने प्राण जो न्यौछावर कर दे वही होता है सैनिक। देश के हर पल अपनी मौत से लड़ते हैं हमारे जवान। अक्सर देखा जाता है कि प्लेन क्रैश में बहुत कम पायलट ऐसे होते हैं जो बच पाते हैं। अमेजन के घने जंगलों में दुर्घटना का शिकार हुए एक विमान के पायलट को 36 दिनों के बाद सुरक्षित बचा लिया गया है।

    1 महीने से भी अधिक समय तक उसने जंगल में रह कर अपनी ज़िंदगी गुजारी। पायलट अमेजन के जंगलों में लगातार भटकता रहा। सेना 210 विमान के क्रैश होने के बाद एंटोनियो नाम के इस पायलट के पास ऐसा कोई उपकरण नहीं था जिससे वह राहत और बचाव टीम के साथ संपर्क कर सके।

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    कई लोगों ने पायलट की वापसी पर संदेह करना शुरू कर दिया था। जंगल में सबसे खतरनाक जानवर रहते हैं। हादसा ब्राजील के ऐसे इलाके में हुआ था जहां के जंगलों में कोई भी आसानी से गुम हो सकता है। यह हादसा पायलट के जन्मदिन के मात्र दो दिन पहले ही हुआ था। 5 हफ्तों से जंगलों में कांच फूट खाकर अपना गुजारा कर रहा था। इस दौरान उसने पक्षियों के अंडे खा कर भी अपना पेट भरा था।

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    जिंदगी और मौत के बीच झूलता रहा हूं लेकिन हार नहीं मानी और जंगल में भटकता रहा आखिरकार कुछ हफ्तों बाद वह घर पहुंच गया। घर पहुंचने के बाद घर वाले सभी भावुक हो गए। 28 जनवरी को एंटोनियो ब्राजील के पारा राज्य में स्थित अलेंकेर से अल्मिरिम के लिए उड़ान भरी थी। तकनीकी खामी के कारण उन्हें उड़ान के कुछ मिनटों बाद ही इमरजेंसी लैंडिंग के लिए मजबूर होना पड़ा।

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    वह बताते हैं कि जब विमान लैंड हुआ उस समय उन्हें लगा कि उनके पास अब ज़्यादा समय नहीं रह गया। लैंड होते समय उनका विमान इतना टूट गया था कि फ्यूल में एक चिंगारी से आग लग गई। हालांकि, उन्होंने तत्परता दिखाते हुए विमान में पहले से रखी हुई खाने की कुछ चीजें निकाल ली थी।