देश में बहुत सारी ऐसी कंपनियां है जिन्होंने बहुत अच्छा खासा नाम कमाया है और अधिकतर लोग उन कंपनियों को जानते भी है। और कंपनियों में टाटा स्टील कंपनी का भी नाम आता है। कई लोग इस कंपनी में नौकरी करने के ख्वाब देखते है, मगर लग नहीं पाते है।
लेकिन आज हम आपके लिए एक ऐसी खुशखबरी लाए है जिसे सुनकर आप उछल पड़ेंगे। अगर आपका कोई रिश्तेदार इस कंपनी में पहले से ही नौकरी करते हैं तो उनके लिए एक बड़ी खबर हम आज लेके आए है। यह कंपनी अपने कर्मचारियों के लिए ‘सुनहरे भविष्य’ नाम की एक योजना लेकर आई है। इस योजना के तहत 2 स्कीम लाए है।
पहली स्कीम ‘जॉब फॉर जॉब’ और दूसरी इएसएस (Early separation scheme) है। यह दोनो स्कीम 1 नवंबर से शुरू हो चुकी है। अगर आपको टाटा स्टील कंपनी की इन स्सीम्स का लाभ उठाना चाहते है तो खबर को अंत तक पड़े।
पहली स्कीम ‘जॉब फॉर जॉब’ स्कीम का फायदा उठाने के लिए आपकी कम से कम उम्र 52 वर्ष होना चाहिए। इस उम्र के कर्मचारी अपनी जॉब अपने बेटे, बेटी, दामाद या किसी अन्य जरूरतमन्द व्यक्ति को ट्रांसफर कर सकते हैं।
वहीं बात करे दूसरी यानी अर्ली सेपरेशन स्कीम(इएसएस) का लाभ लेने के लिया कर्मचारी की न्यूनतम उम्र 45 वर्ष होनी चाहिए। हालांकि इस स्कीम का फायदा वे तभी उठा सकेंगे जब डिपार्टमेंटल हेड उन्हें रिलीज करने की अनुमति देते हैं।
आपको बता दे इएसएस लेने वाले कर्मचारियों को बाद में भी बेसिक-डीए की रकम, मेडिकल सुविधा और क्वार्टर की सुविधा मिलती रहेगी। यह सुविधा उन्हें इएसएस लेने के छह साल बाद तक या 58 साल की उम्र तक, या जो पहले की अवधि होगी मिलेगी।
यदि कोई कर्मचारी ‘जॉब फॉर जॉब’ और इएसएस दोनों स्कीम का लाभ एकसाथ लेना चाहता है तो उसकी न्यूनतम उम्र 50 वर्ष तय की गई है। इसके लिए कर्मचारी को अपने आवेदन फॉर्म में स्विच ओवर के ऑप्शन पर टिक करना होगा।
दोनों स्कीम का एकसाथ लाभ लेने वाले कर्मचारी को 55 वर्ष तक वर्तमान बेसिक-डीए की कुल राशि मिलती रहेगी। 55 वर्ष के बाद ही उनका नामित आश्रित जॉब फॉर जॉब के लिए टाटा स्टील में आवेदन कर पाएगा। हालांकि कंपनी में जॉब आपको तभी मिलेगी जब आप एआईटीटी की परीक्षा पास कर लेंगे। ये एग्जाम पास करने के बाद आपको पहले ट्रेनिंग भी दी जाएगी।
आपको बता दे टाटा स्टील प्रबंधन अपने कर्मचारियों को और भी कई सुविधाएं मुहैया करा रहा है। जैसे कर्मचारियों को जनवरी से पुरी में गेस्ट हाउस की बजाय होटल की सुविधा दी जाएगी। मंगलवार को कंपनी प्रबंधन व टाटा वर्कर्स यूनियन के टॉप थ्री (अध्यक्ष, महामंत्री व डिप्टी प्रेसिडेंट) के बीच मीटिंग हुई थी।
इसमें कई सुविधाओं और योजनाओं पर चर्चा हुई। इस मीटिंग में वर्ष 2018 बैच के 319 ट्रेड अप्रेंटिस के स्टाइपेंड 7000 रुपए से बढ़ाकर 15000 हजार रुपए मासिक करने फैलसा लिया गया था।