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स्वास्थ्य प्रबंधन प्रणाली प्रोजेक्ट के सभी कार्य निर्धारित समय सीमा के अंदर हर हाल में पूरे किए जाएं- अरविंद केजरीवाल

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मुख्यमंत्री श्री अरविंद केजरीवाल ने आज अपने आवास पर एक उच्च स्तरीय बैठक कर स्वास्थ्य सूचना प्रबंधन प्रणाली (एचआईएमएस) प्रोजेक्ट की समीक्षा की। समीक्षा बैठक में स्वास्थ्य मंत्री श्री सत्येंद्र जैन के साथ स्वास्थ्य विभाग सभी संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।

सीएम को अधिकारियों ने प्रजेंटेशन के जरिए बताया कि एचआईएमएस प्रोजेक्ट का कार्य बहुत तेजी से चल रहा है और इसमें काफी प्रगति हुई है। सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि एचआईएमएस प्रोजेक्ट दिल्ली सरकार की प्रमुख प्रोजेक्ट में से एक है।

स्वास्थ्य प्रबंधन प्रणाली प्रोजेक्ट के सभी कार्य निर्धारित समय सीमा के अंदर हर हाल में पूरे किए जाएं- अरविंद केजरीवाल

सीएम ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि इस प्रोजेक्ट के सभी कार्य निर्धारित समय सीमा के अंदर हर हाल में पूरा किया जाए। उल्लेखनीय है कि एचआईएमएस प्रोजेक्ट पूरा होने के साथ ही दिल्ली क्लाउड-आधारित स्वास्थ्य प्रबंधन प्रणाली रखने वाला देश का एकमात्र राज्य बन जाएगा।

बैठक में मौजूद स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने एचआईएमएस, ई-हेल्थ कार्ड और हेल्थकेयर हेल्पलाइन प्रोजेक्ट की प्रगति पर संतोष व्यक्त किया।

स्वास्थ्य प्रबंधन प्रणाली प्रोजेक्ट के सभी कार्य निर्धारित समय सीमा के अंदर हर हाल में पूरे किए जाएं- अरविंद केजरीवाल

समीक्षा बैठक में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने दिल्ली एचआईएमएस को लागू करने और ई-हेल्थ कार्ड जारी करने के संबंध में विस्तार से प्रजेंटेशन दिया। अधिकारियों ने बताया कि दिल्ली एचआईएमएस प्रोजेक्ट के तहत एनआईटी/आरएफपी जारी कर दिया गया है।

इसके लिए होने वाली प्री-बिड की दो बैठकें हो चुकी हैं और बिड जमा करने के साथ बिड का मूल्यांकन किया जा चुका है। एचआईएमएस प्रोजेक्ट के लिए वेंडर चयन की प्रक्रिया चल रही है। कोर टीम के सदस्यों द्वारा डेमो

, प्रस्तुति और साक्षात्कार सहित कई पहलुओं पर विस्तृत मूल्यांकन किया जा रहा है और यह प्रक्रिया 20 फरवरी तक पूरा कर ली जाएगी। इस प्रोजेक्ट का कार्यान्वयन और इसकी शुरूआत अगस्त तक करने का लक्ष्य रखा गया है।

इसी तरह, हेल्थ कार्ड प्रोजेक्ट के तहत कमिटी के सदस्यों ने ईओआई के लिए एनआईटी जारी कर दिया है और ईओआई के लिए प्री-बिड बैठकें हो चुकी हैं। इसके लिए बिड जमा करने की प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई है। बिड प्रस्तुत करने के लिए 10 दिन का समय दिया गया था, जिसमें उद्योग भागीदारों से अच्छी प्रतिक्रिया मिली और कुल 21 रिस्पाॅस मिले हैं।

ओपन आरएफपी के माध्यम से वेंडर चयन और ऑनबोर्डिंग की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। अधिकारियों ने बताया कि हेल्थ हेल्पलाइन प्रोजेक्ट के कार्य में भी काफी प्रगति हुई है। इस प्रोजेक्ट के तहत एनआईटी/आरएफपी जारी कर दिया गया है और प्री-बिड बैठकें संपन्न हो चुकी हैं। अब प्रोजेक्ट के तहत बिड जमा करने की प्रक्रिया चल रही है।

उल्लेखनीय है कि दिल्ली सरकार की मंसा है कि एचआईएमएस को अगस्त 2021 तक दिल्ली के सभी सरकारी अस्पतालों में लागू कर दिया जाए। मरीजों के देखभाल की सभी सेवाएं जैसे अस्पताल प्रशासन, बजट और योजना, आपूर्ति श्रृंखला प्रबंधन, बैक एंड सेवा और प्रक्रियाओं को इस सिस्टम के अंदर लाया जाएगा।

ई-हेल्थ कार्ड सिस्टम के माध्यम से जारी किए जाएंगे और एक्सेस के लिए ऑनलाइन उपलब्ध होंगे। डोर टू डोर सत्यापन कर भौतिक कार्ड वितरित किए जाएंगे। यह पूरा सिस्टम डिजीटल और क्लाउड पर आधारित होगी।

इससे दिल्ली के लोगों को एक छत के नीचे सभी जानकारी प्राप्त करने और आपातकालीन मामलों में मदद मिल सकेगी। एचआईएमएस लागू होने के बाद दिल्ली देश का एकमात्र राज्य बन जाएगा, जहां क्लाउड आधारित स्वास्थ्य प्रबंधन प्रणाली होगी।

*ई-हेल्थ कार्ड के लिए प्रस्तावित गतिविधियां-

ई-हेल्थ कार्ड प्रोजेक्ट के तहत वोटर आईडी और जनसंख्या रजिस्ट्री के आधार पर दिल्ली के सभी निवासियों को क्यूआर कोड आधारित ई-हेल्थ कार्ड जारी किए जाएंगे। जिससे प्रत्येक मरीज की जनसांख्यिकीय और बुनियादी क्लीनिकल जानकारी प्राप्त की जा सकेगी।

सभी पात्रों को स्वास्थ्य योजनाओं और कार्यक्रमों के लिए ई-हेल्थ कार्ड के माध्यम से पूरे परिवार की मैपिंग की जाएगी। निर्बाध सूचना आदान-प्रदान के लिए दिल्ली एचआईएसएस के साथ एकीकरण किया जाएगा। भौतिक सत्यापन के बाद प्रत्येक व्यक्ति को क्यूआर कोड के साथ भौतिक कार्ड वितरित किए जाएंगे। साथ ही, लोगों के अनुरोध पर संशोधित या डुप्लिकेट कार्ड जारी करने के लिए प्रावधान भी किया जाएगा।

केंद्रीकृत स्वास्थ्य हेल्पलाइन के लिए कॉल सेंटर होगा-

इस स्कीम को लागू करने के लिए दो स्तर पर केंद्रीकृत काॅल सेंटर स्थापित होगा। पहले स्तर में काॅल सेंटर आँपरेटर लोगों के काॅल और मैसेज प्राप्त करेंगे। सीआरएम को लाॅग-इन कर केस का आंकलन करते हुए उसका समाधान कराएंगे और संबंधित उपलब्ध हेल्थकेयर स्टाफ को बताएंगे। आँपरेटर काॅल करने वाले को संबंधित जानकारी देंगे और अंत में उसकी रिपोर्ट बनाई जाएगी।

वहीं, दूसरे स्तर में दिल्ली सरकार के डाॅक्टर और विशेषज्ञ काॅल और संदेश को प्राप्त करते हुए मरीज को मिलने का समय देंगे। यदि केस इमरजेंसी है, तो उनके काॅल को तत्काल स्वीकार करेंगे। मरीजों से बात कर उनकी समस्या का समाधान करेंगे। यदि जरूरत पड़ती है, तो वे संबंधित रोग के विशेषज्ञ डाॅक्टर से संपर्क करेंगे। इसके बाद मरीज को जानकारी देते हुए सीआरएम पर इसकी अपडेट देंगे।

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