शहर को साफ रखने पर भी अब स्कूल में बच्चों का होगा टेस्ट

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स्कूल में बच्चों को शिक्षा तो दी जाती है, लेकिन अब उनको शहर को किस तरह से साफ रखना है। उसके बारे में भी जागरूक का यह पाठ पढ़ाया जाएगा। इसको लेकर नगर निगम के द्वारा प्लानिंग की जा रही है। जिसमें शहर के स्कूल व कॉलेजों के स्टूडेंट को शहर को साफ रखने में किस तरह से योगदान दे सकते हैं, उसके बारे में पाठ पढ़ाया जाएगा।

नगर निगम कमिश्नर यशपाल यादव ने बताया कि स्कूलों में बच्चों को मैथ, साइंस, हिंदी, इंग्लिश आदि के सब्जेक्ट तो पढ़ाया जाते हैं। लेकिन अब उनको अपने घरों व जिले को कैसे साफ रखना है। इसका पाठ भी पढ़ाया जाएगा। हमारे जिले साफ रखने के लिए स्कूल व कॉलेजों का साथ लेना बहुत जरूरी है। क्योंकि जब हम उन बच्चों व स्टूडेंट को जागरूक करेंगे। तभी वह अपने घर जाकर अपने परिवार वालों को जागरूक करेंगे।

शहर को साफ रखने पर भी अब स्कूल में बच्चों का होगा टेस्ट

उसके बाद वहीं परिवार वाले गिला व सूखा कूड़ा अलग-अलग करके देंगे। नगर निगम कमिश्नर यशपाल यादव ने बताया कि स्कूल में बच्चों को यह पाठ पढ़ाया जाएगा कि घर मे दो डस्टबिन रखे जाए। जिसमें से एक में सूखा कोड़ा व दूसरे में गीला कूड़ा रखा जाए। इसको लेकर उनको यह भी बताया जाएगा कि भी सूखा कूड़ा कौन सा होता है और गीला कूड़ा कौन सा होता है।

जिसके बाद वह इस प्रैक्टिकल को अपने घर पर जाकर अपने परिवार वालों के साथ करेंगे। साथी परिवार वालों को जागरूक भी करेंगे। उसके बाद वह अपने घरों में दो डस्टबिन रखेंगे। जिस पर वह एक पर लिखेंगे गिला कोड़ा व दूसरे पर लिखेंगे सूखा कूड़ा। उन दोनों डस्टबिन की फोटो क्लिक करके वह अपनी क्लास टीचर के पास भेजेंगे।

शहर को साफ रखने पर भी अब स्कूल में बच्चों का होगा टेस्ट

जिसके बाद उन बच्चों को टेस्ट लिया जाएगा। अगर किसी भी बच्चे के द्वारा घर पर दो डस्टबिन नहीं रखे गए तो उसके बारे में क्लास टीचर उनसे सवाल का जवाब कर सकती है। इसके अलावा बच्चों को यह भी सिखाया जाएगा कि वह हर रोज जब इकोग्रीन की गाड़ी आती है तो उसको भी गीला व सूखा कूड़ा अलग अलग करके दे।

इसके अलावा कॉलेज में पढ़ने वाले स्टूडेंट को भी स्टूडेंट को भी पाठ पढ़ाया जाएगा कि वह कैसे अपने घर में गीला व सूखा कूड़ा रखकर लोगों को जागरूक कर सकते हैं।

शहर को साफ रखने पर भी अब स्कूल में बच्चों का होगा टेस्ट

नगर निगम कमिश्नर यशपाल यादव का कहना है कि अगर यह प्लानिंग उनकी कामयाब हो जाती है। तो लोगों को जागरूक करने में इन स्कूली बच्चों व कॉलेज के स्टूडेंट का काफी अहम रोल रहेगा। इसीलिए जल्दी ही इस प्रक्रिया को लेकर बातचीत करेंगे।