फरीदाबाद नगर निगम की खस्ता हालत और जर्जर स्थिति के कारण नौबत आन पड़ी है कि फरीदाबाद नगर निगम को अपने खर्चों का भुगतान करने के लिए गुरुग्राम नगर निगम की मदद लेने की आवश्यकता आ पड़ी है।
जिसके चलते कुछ दिनों पहले सरकार के निर्देश अनुसार गुरुग्राम के नगर निगम अधिकारियों द्वारा सूचना जारी की गई की गुरुग्राम नगर निगम (एमसीजी) फरीदाबाद में कचरा एकत्रीकरण के लिए ईको ग्रीन को लिए एक समझौते के तहत पैसे का भुगतान करेगा।
अब आप अंदाज़ा लगा सकते हैं कि एक तरफ तो पूरे देश से चीन के प्रोडक्ट का परहेज किया जा रहा है लेकिन वहीं दूसरी ओर इको ग्रीन कंपनी द्वारा साइन हुए एग्रीमेंट से बॉयकॉट चाइना प्रोडक्ट थीम पर एक जोरदार तमाचा लगा हुआ है । हमारे देश की सरकार चीन के प्रोडक्ट को खरीदने से मना करती है और स्वदेशी अपनाने के लिए कहती है लेकिन सरकारी दफ्तर ही चीन की कंपनी तले दब चुके हैं।
Eco green gadiyo ko payment time se chaiye but service very poor in Sanjay colony sector 23.
— Rajkishore Kush (@KushRajkishore) June 18, 2020
Please ask the contractor to provide the service on daily basis.
आपको आज हम अपनी रिपोर्ट में बताना चाहेंगे की इकोग्रीन की कंपनी के आने से पहले हैदराबाद की एक कंपनी जिसने पहले फरीदाबाद में एनआईटी क्षेत्र में कूड़ा कचरा उठाने का भार उठा रखा था और लोगों के अनुसार इको ग्रीन कंपनी से अच्छा कार्य इंडिया की यह कंपनी करती थी लेकिन इंडिया के इस कंपनी को हटाकर चीन की कंपनी को फरीदाबाद में पनाह दी गई।
मैं पहले भी इस बारे में शिकायत कर चुका हूॅ पर कोई सुनबाई नहीं होती है ।ईको ग्रीन के कम॔चारियों गाडी के ड्राईबरों का कहना है बोल दो ओफिस में क्या करवा लोगे।
— Raghuraj Tomar (@RaghurajTomar15) June 19, 2020
जिसका खामियाजा अब केवल नगर निगम ही नहीं बल्कि आप लोग भी भुगत रहे हैं । उनके अनुसार इको ग्रीन अपना कार्य ठीक तरह से नहीं कर रही ।
Ramky कंपनी का विश्लेषण
Ramky कंपनी की यदि बात करें तो आपको बताना चाहेंगे कि ये कंपनी भारत में हैदराबाद कि कंपनी है । जिसका काम खत्तों से कूड़ा कचरा उठाकर बंधवाङी तक पहुंचना होता था ।इस कंपनी ने 2011 में फरीदाबाद में आकर काम शुरू किया । इस कंपनी ने 2014 अगस्त तक काम किया था जिस दौरान इसके बेहतरीन काम की चर्चा एनआईटी के लोग आज भी करते है ।
Ramky को हटाकर कैसे चीनी कम्पनी को मिली पनाह
Ramky कंपनी केवल एनआईटी क्षेत्र में से कूड़ा कचरा उठाती थी और लोगों को अपने इलाके की एक जगह पर कूड़ा इक्खटा करना होता था जिसे खत्ता कहा जाता है । एक तरह से यह कह सकते हैं कि खता प्रथा को हटाने के लिए इकोग्रीन की चाइनीज कंपनी को हरियाणा सरकार ने जिम्मेदारी दी । 20 साल के इस एग्रीमेंट ने लोगों को काफी परेशान किया ट्विटर पर काफी लोगों की शिकायत यह आती थी की इको ग्रीन की गाड़ियां लेकर आने वाले कर्मचारी भी उनसे रुपयों की मांग करते हैं मना करने पर कई कई दिनों तक इकोग्रीन की गाड़ियां उस इलाके में नहीं आती।
चीनी कंपनी ने खाई गरीब नौकरी
इको ग्रीन कंपनी जोकि चाइनीस कंपनी है इन दिनों इस कंपनी में काम करने वाले कर्मचारी भी बेहद परेशान हैं अभी हाल ही में इस कंपनी ने नियम की अवहेलना करते हुए पंचिंग मशीन कोरोना काल के द्वारा कंपनी में लगा रखी थी जिसके बाद मीडिया में रिपोर्ट आने के बाद प्रशासन ने इस पर एक्शन लिया और उस मशीन को हटाया गया लेकिन इसका खामियाजा एक गरीब चौकीदार को भुगतना पड़ा। चौकीदार की नौकरी छीन ली गई प्रशासन ने लेकिन अभी तक इस बात को लेकर कोई एक्शन नहीं लिया।
यह हाल केवल एक कर्मचारी का नहीं बल्कि इकोग्रीन के कई कर्मचारी कंपनी से बेहद परेशान है सीमा पर चढ़े विवाद के बाद उन्होंने प्रदर्शन भी किया जिसकी वीडियो हमने अपने चैनल पर भी दिखाई है ।
Gurugram, Faridabad residents demand cancellation of Chinese subsidiary Ecogreen’s contract
— HT Gurugram (@HTGurgaon) June 23, 2020
(reports @7kartikkumar) https://t.co/q8PX0mz11T pic.twitter.com/Ur2mG7d0BO
सीमा पर हो रहे सीमा विवाद के कारण देश में जगह-जगह चीनी सामानों का विरोध किया जा रहा है लेकिन फरीदाबाद में इको ग्रीन कंपनी भी चाइनीस कंपनी है ऐसे में इस कंपनी का विरोध करने के लिए इसी कंपनी के कर्मचारी भी सामने आए और जमकर विरोध भी किया ।
अपनी बात को हमसे साझा करते हुए यह बताया कि देश पर हो रहे सीमा विवाद के कारण अब वह इस कंपनी में औरतें काम करना नहीं चाहते थे यहां तक कि उन्होंने अपने पीएफ की कुछ राशि देश के जवानों को देने के लिए भी कहा है ।
सीधी बात , इको ग्रीन कंपनी जो कि चाइना की कंपनी है उसने इंडियन कंपनी रिंकी को हटाकर फरीदाबाद में अपनी जगह बनाई हालांकि शुरुआत में लोगों को यह काफी अच्छा लगा कि उनके घरों से आकर कूड़ा कचरा उठाया जाएगा लेकिन धीरे-धीरे कर्मचारियों की लापरवाही और गैर जिम्मेदारी ने इस कंपनी की पोल खोल दी । फिलहाल पूरे देश में यहां तक कि फरीदाबाद शहर में भी लोग चीन का विरोध कर रहे हैं चीनी सामानों का बहिष्कार कर रहे हैं लेकिन अब तक चीन की इस कंपनी के लिए कोई शब्द रूप से एक्शन नहीं लिया गया चक्की फरीदाबाद नगर निगम मी कर्ज तले इस कंपनी के वजह से दब चुका है।
पिछले कुछ दिनों पहले शहर के डिप्टी मेयर मनमोहन गर्ग ने भी सरकार को ज्ञापन सौंप इस कंपनी के बंद करवाने के लिए मांग भी की लेकिन अभी तक इस पर कोई निर्णय सामने नहीं आया है।
इस कंपनी ने 20 साल का समझौता नगर निगम से कर रखा है जिस वजह से इसे हटाने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है लेकिन यदि लोग चाहेंगे और इस कंपनी का विरोध जमकर करेंगे तो शायद यह मुमकिन हो कि इस कंपनी को फरीदाबाद शहर से हटाया जा सके क्योंकि आखिरी यह भी एक चीनी कंपनी ही है । भारत चीन सीमा विवाद के बाद चीन के कई प्रोजेक्ट को रद्द कर दिया गया है तो आखिर इकोग्रीन के खिलाफ भी कोई कदम क्यों नहीं उठाए जा रहे।
अगर अपने यहां तक आए है तो जवाब जरूर दें कि क्या आप चीनी कंपनी को हटाकर इंडियन कंपनी RAMKY को वापिस लाना चाहते है ?