बनने लगी हैं मूर्तियां, घर में ही विराजेंगे गजानन

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बनने लगी हैं मूर्तियां, घर में ही विराजेंगे गजानन :- कोरोना वायरस के चलते सभी त्यौहार इस बार सादगी से मनाए जाएंगे। कोरोना संक्रमण के डर से इस बार शहर में गणपति उत्सव का सार्वजनिक रूप से आयोजन नहीं किया जाएगा। गणपति के प्रति आस्था रखने वाले लोगों ने इस बार घर पर ही उत्सव की तैयारी कर ली है। बाजारों में पहले से ही महोत्सव की तैयारियां शुरू कर दी गई हैं।

बाजार में दुकाने भी गणपति की मूर्तियों से सज गई हैं। कई क्षेत्रों में मूर्तिकार गजानन की मूर्तियों के निर्माण में जुट गए हैं। बहुत सारी दुकानों में मूर्तिकारों ने प्रतिमाओं की रचना शुरू कर दी है।

बनने लगी हैं मूर्तियां, घर में ही विराजेंगे गजानन :- कोरोना वायरस के चलते सभी त्यौहार इस बार सादगी से मनाए जाएंगे। कोरोना संक्रमण के डर से इस बार शहर में गणपति उत्सव

आपको बता दें कि शहर में महाराष्ट्र मंडल तथा महाराष्ट्र मित्र मंडल जैसी सामाजिक संस्थाएं भव्य गणपति उत्सव का आयोजन किया करती थी।

10 दिन तक गणपति पूजन के साथ-साथ रंगा रंग कार्यक्रम का भी आयोजन किया जाता था। पर वायरस संक्रमण के चलते इस बार उत्सव आयोजन से परहेज़ किया जा रहा है।

पूर्व मंत्री विपुल गोयल भी अपने निवास स्थान पर गणेश मोहोत्सव का आयोजन करवाया करते थे। उत्सव के शुभारंभ पर शोभा यात्रा भी निकाली जाती थी, इस बार किसी भी तरह के विशाल कार्यक्रम का आयोजन नहीं किया जाएगा।

बनने लगी हैं मूर्तियां, घर में ही विराजेंगे गजानन :- कोरोना वायरस के चलते सभी त्यौहार इस बार

कोरोना काल में घरों में ही गजानन की आराधना की जाएगी। कोरोना के चलते इस बार पूर्ण रूप से सामजिक दूरी का पालन किया जाएगा और सभी कार्यक्रम विराम पर रहेंगे।

हर बार जिस धूम धाम के साथ गणपति उत्सव मनाया जाता था इस बार कोरोना के चलते उससे बचा जाएगा। उत्सव ना होने से इस बार लोग घर पर ही बप्पा की स्थापना कर पूजा अर्चना करेंगे।

महाराष्ट्र मित्र मंडल के अध्यक्ष राजेंद्र पांचाल ने बताया की इस बार पिछले वर्षों की तरह साथ दिवसीय बड़ा आयोजन नहीं करवाया जाएगा। गणेश चतुर्थी में इस वर्ष दो दिवसीय कार्यक्रम किया जाएगा। मंडल की ओर से ही प्रतिमा की संरचना की जा रही है और छोटे स्तर पर ही कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। 23 अगस्त को गणेश जी की मूर्ती विसर्जित की जाएगी।