देश समेत दुनिया में कोरोना ने अर्थव्यस्था के बाद परीक्षा को ही सबसे अधिक नुक्सान पहुचायां है। हरियाणा राज्य उच्च शिक्षा परिषद के अध्यक्ष प्रोफेसर बृज किशोर कुथिआला की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह निर्णय किया गया कि सितंबर अंत तक होंगी कॉलेजों में अंतिम वर्ष की परीक्षाएं की जाएं।
दाखिले की प्रक्रिया और बहुत सी परीक्षाएं महामारी के कारण रुकी हुई हैं। अधिकारियों ने बताया कि इन परीक्षाओं में दो लाख छात्रों के हिस्सा लेने का अनुमान है। परिणाम की घोषणा 31 अक्टूबर तक कर दी जाएगी। राज्य सरकार के एक बयान में परिषद के प्रवक्ता के हवाले से बताया गया कि छात्रों को विकल्प दिया गया है कि वे ऑनलाइन या ऑफलाइन परीक्षा दे सकते हैं ।
परीक्षाओं को लेकर बहुत से राजनैतिक दलों ने राजनीती की कोशिश भी की है। इधर, बयान में कहा गया कि स्नातक और परास्नातक पाठ्यक्रमों के अंतिम वर्ष की परीक्षाओं में दो लाख छात्रों के हिस्सा लेने का अनुमान है। इन परीक्षाओं में छात्रों की हिस्सेदारी के लिए उचित इंतजाम किए जाएंगे। निर्णय किया गया कि कोविड-19 की स्थिति के मद्देनजर केंद्र और राज्य सरकार द्वारा जारी मानक संचालन प्रक्रिया का कड़ाई से पालन किया जाएगा।
महामारी कोरोना ने सबकुछ बदल के रख दिया है। कॉलेज में बाकी विद्यार्थियों की ऑनलाइन कक्षा लग रही हैं। कंपार्टमेंट और अंतिम वर्ष की परीक्षाओं में एक बार फिर से बैठने वालों के लिए भी इसका आयोजन होगा। सबकुछ इंतज़ाम होने के बाद ही परीक्षाओं का आयोजन किया जाएगा।