मरने से पहले अगर कोई किसी की जान बचा जाये तो उसको फरिश्ता ही आप कह सकते हैं। हार्ट अटैक के मामले देश में लगातार बढ़ते जा रहे हैं। एक मामला हार्ट अटैक का चलती बस में हुआ। दरअसल, हिमाचल प्रदेश परिवहन निगम के बस चालक की सुझबूझ से 35 यात्रियों की जान बच गई। बस चालक यात्रियों को लेकर कुछ दूर पहुंचे ही थे कि अचानक से उनको अचानक हार्ट अटैक आया।
यदि पिछले कुछ वर्षों की बात करें तो लगातार हार्ट अटैक के मामलों में इज़ाफ़ा हुआ है। अचानक सीने में दर्द उठता है और काफी जगह जीवन लीला खत्म हो जाती है। इस मामले में अटैक आने के बाद भी बाद भी वे हिम्मत नहीं हारे और बस में सवार सभी यात्रियों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया।
उस बस में बैठे सभी यात्रियों ने उनको भगवान सामान माना है। अपनी मृत्यु से पहले वह दूसरों की ज़िंदगी बचा गए। बस चालक श्याम लाल रोजना की तरह घटना वाले दिन भी सरकाघाट से अवाहदेवी रूट पर जाने वाली बस को उसके गंतव्य तक पहुंचाने के लिए बस पर चढ़ गए। जैसे ही सधोट गांव के पास बस पहुंची वैसे ही उनके सीने में तेज दर्द होने लगा।
अपनी समझदारी दिखाते हुए उन्होंने काफी लोगों की जिंदगियां बचाई। हिमाचल प्रदेश में हर कोई उनकी तारीफ कर रहा है। जब उनको पीड़ा हुई तो, बस उनके कंट्रोल से बाहर होने लगी। इसके बाद बस में सवार यात्रियों की सांसे अटक गई। इस कंडिशन में भी श्याम लाल हिम्मत से काम लिया और बस में सवार सभी यात्रियों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाकर बस से उतार दिया।
जाते – जाते भी उन्होंने खुद के बारे में ना सोचकर दूसरों के बारे में सोचा। यह सोच उनको अमर कर गई। जब यात्रिओं को उन्होंने उतारा तो। इसके बाद श्याम लाल अपनी सीट पर ही बेहोश हो गए।