वैसे तो देश के कोने-कोने से वाहन चोरी होने के मामले सामने आते रहे हैं। इतना ही नहीं लोगों की इतनी हिम्मत हो गई कि लोग अब दिनदहाड़े भी चोरी करने से बाज नहीं आते हैं। वहीं दूसरी तरफ ऐसे मामलों पर लगाम नहीं लग रहा तो लोग पुलिस प्रशासन पर सवाल उठा रहे हैं।
मगर हरियाणा के रेवाड़ी में एक ऐसा मामला सामने आया जहां, एक कार चालक ने खुद ही अपनी कार चोरी करवा दी और पुलिस को रिपोर्ट में बताया कि उसकी कार चोरी हो गई है। मगर पुलिस ने गहनता से जांच की तो पता चला कि कार चालक और उसके दोस्त ने मिलकर इस वारदात को अंजाम दिया था।
देवेन्द्र पर काफी कर्ज है। इसी कर्ज को उतारने के लिए उसने अपनी BMW कार चोरी होने की साजिश रची और इसमें अपने दोस्त रवि को शामिल किया। पूछताछ में सामने आया कि देवेन्द्र के पास दो चाबी थी। उसने एक चाबी रवि को देकर खुद ही यहां से रवाना किया था और फिर बाद में पुलिस को कार चोरी होने की सूचना दे दी। देवेन्द्र चोरी की झूठी शिकायत दर्ज कराकर इंश्योरेंस क्लेम लेने की फिराक में था। पुलिस ने देवेन्द्र व उसके दोस्त रवि को काबू कर लिया है।
गुरुग्राम के मानेसर के गांव नैनवाल निवासी देवेन्द्र कंप्यूटर रिपेयर का काम करता है। उसने एक BMW कार HR 29AB 0777 ली हुई थी। मंगलवार को वह रेवाड़ी में अंबेडकर चौक पर मनोहर डाइग्नोस्टिक सेंटर पर आया और पर्ची कटवाई। उसके बाद उसने पुलिस को सूचना दी कि उसकी कार अल्ट्रासाउंड सेंटर के बाहर खड़ी थी, जिसे कोई चोरी करके ले गया। सूचना के बाद मॉडल टाउन थाना पुलिस ने तुरंत नाकाबंदी की और कार तलाशने की कोशिश शुरू की।
देवेन्द्र की बातों पर पुलिस को शुरू से ही शक हो गया था, इसका कारण यह था कि कार चोरी की टाइमिंग के वक्त चौक पर काफी भीड़ होती है। जबकि कुछ मिनट में ही कार चोरी होना इतना असान भी नहीं है। फिर भी पुलिस ने कार को ढूंढने के लिए जी जान लगा दी। पुलिस कार की तलाश में गुरुग्राम के गांव खलीलपुर तक पहुंची और कार को बरामद भी कर लिया। इसके साथ ही रवि नाम के एक शख्स को पकड़ा गया। रवि से सख्ती से पूछताछ की तो उसने राज खोल दिया।