टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

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फरीदाबाद की जर्जर सड़कों की हालत से कोई भी जिला वासी अंजान नहीं है। नगर निगम फरीदाबाद को जनता न जाने कितनी बार टूटी – फूटी सड़कों के बारे में अवगत करवा चुकी है। लेकिन निगम के अधिकारी सुध भी लेने को तैयार नहीं हैं। कभी – कभी तो ऐसा लगता है कि नगर निगम फरीदाबाद के अधिकारी सिर्फ भ्रष्टाचार करने के लिए ही निगम में बैठते हैं।

जिले में लगातार कोरोना और भ्रष्टाचार के मामले बढ़ते जा रहे हैं और लोगों की परेशानियां हर दिन दोगुनी होती जा रही है। टूटी हुई सड़कों से लैस फरीदाबाद दिल्ली – एनसीआर में बदनाम हो गया है।

टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

नगर निगम फरीदाबाद के अधिकारी न जाने जिले के बारे में क्यों नहीं सोचते, सड़कों को बनाने का न जाने क्यों नहीं सोचते। एक अजीबो – गरीब आदेश निगम ने दिया है कि हार्डवेयर चौक स्थित आंबेडकर चौक पर डॉ. भीमराव आंबेडकर की अष्टधातु की प्रतिमा लगाई जाएगी। सोचने की बात यह है कि ठीक उसी चौक के सामने वाली सड़क जो कि हार्डवेयर चौक से बाबा दीप सिंह शहीद चौक तक जाती है उसकी हालत किसी भूतियाँ महल वाली सड़कों से कम नहीं है।

टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

हार्डवेयर चौक से बाबा दीप सिंह शहीद चौक तक की सड़क पर हर समय दुर्घटना का अंदेशा लगा रहता है। ऐसे में सवाल यह उठता है कि निगम के पास मूर्ति लगाने के लिए पैसे हैं, लेकिन लोगों की ज़िंदगी क्या मज़ाक है ? किसी भी समय उस सड़क पर हादसा हो सकता है उसको ठीक करवाने की ज़रूरत नहीं है क्या? मूर्ति ज़्यादा ज़रूरी है ? या लोगों की जान यह बड़ा सवाल है जिस पर बहस भी हो सकती है।

फरीदाबाद में ऐसे बहुत से काम हैं जो अटके हुए हैं, लेकिन निगम उनको पूरा करने के बजाय मूर्ति लगवा रहा है इसका कोई औचित्य नहीं। बारिश के बाद तो शहर की सड़कें कई जगह जर्जर होती जा रही हैं। शिकायत पर ठोस समाधान की बजाय नगर निगम महज खानापूर्ति करता रहता है। सड़क की जर्जर स्थिति को अनदेखा कर के मूर्ति निर्माण ? लगता है अधिकारी सस्ता नशा करके गहरी नींद में सो गए हैं।

टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

नगर निगम फरीदाबाद ने कुछ समय पहले हार्डवेयर चौक से बाबा दीप सिंह शहीद चौक तक जर्जर सड़क पर रोड़ी और डस्ट यूं ही फैला दी थी। यहां इसे रोलर चलाकर समतल नहीं किया गया। मौजूदा स्थिति ये है कि अब भी पहले की तरह लोगों को इस रास्ते से निकलने में परेशानी हो रही है। आप खुद ही बता सकते हैं की यहां की सड़के कैसी हैं चाहे श्रीराम धर्मार्थ अस्पताल रोड की हो या तिकोना पार्क सब्जी मंडी के पास सरकारी स्कूल के सामने सभी की हालत बहुत बुरी है।

प्रशासन मूर्ति लगा के दिखाना क्या चाहता है ? कि हम शहर को खूबसूरत बना रहे हैं? अगर ऐसा है तो हर कोने से कूड़ा – कचरा ही उठवा देते। श्रीराम धर्मार्थ अस्पताल की ओर जाने वाले मार्ग पर कीचड़ जमा रहता है। किसी भी निगम अधिकारी का इस तरफ ध्यान नहीं है। इस रास्ते से प्रतिदिन बड़ी संख्या में लोग अस्पताल आते हैं, तो तिकोना पार्क सब्जी मंडी में भी आते-जाते हैं।

टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

सिर्फ तिकोना पार्क और हार्डवेयर चौक ही नहीं बल्कि अनेकों ऐसी सड़कें हैं जहां नए सिरे से सड़क बनाने की जरूरत है। नगर निगम ने हार्डवेयर गोल चक्कर के जीर्णोद्धार की योजना तैयार की है। इसके टेंडर जारी कर दिए हैं। यहां पार्क विकसित कर सौंदर्यीकरण किया जाएगा। चौक के जीर्णोद्धार के लिए डॉ. आंबेडकर स्टूडेंट फ्रंट ऑफ इंडिया ने पिछले साल नवंबर से जनवरी तक धरना भी दिया था।

टूटी सड़कों से ध्यान भटकाने के लिए नगर निगम कर रही 27 लाख खर्च कर मूर्ति का निर्माण

अधिकारीयों को गोल चक्कर ही दिखाई देता है शायद लेकिन सड़कें नहीं यह लोग सड़कों की बजाय हवा में चलते होंगे। नगर निगम ने अधीक्षक अभियंता बीरेंद्र कर्दम के मुताबिक गोल चक्कर के जीर्णोद्धार के लिए 27 लाख रुपये का बजट तैयार किया गया है। इसके लिए टेंडर आमंत्रित किए हैं। हालांकि अभी कोई कंपनी टेंडर लेने नहीं आई है। चौक पर डॉ. भीमराव आंबेडकर की अष्टधातु की प्रतिमा लगाई जाएगी। इसके अलावा गोल चक्कर में पार्क विकसित कर लोगों के बैठने के लिए बेंच लगाए जाएंगे।